नई दिल्ली. सहायक अध्यापक के प्रमोशनल पे स्केल पर इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) ने अहम फैसला सुनाया है. हाईकोर्ट ने बेसिक शिक्षा परिषद से सहायक अध्यापक को 22 साल की नौकरी पूरी होने पर भी प्रमोशनल पे स्केल का लाभ न मिलने को गंभीरता से लेते हुए प्रयागराज के बीएसए को याची के प्रत्यावेदन पर जल्द फैसला लेने का निर्देश दिया है. विजय कुमार की याचिका पर यह आदेश जस्टिस सौरभ श्याम शमशेरी ने दिया है.
एडवोकेट अनुराग त्रिपाठी ने कहा कि याची की नियुक्ति प्रतापगढ़ जिले के प्राथमिक विद्यालय भावलपुर मांधाता में 15 फरवरी 2000 को हुई थी. 16 फरवरी 2010 को नियुक्ति तिथि से 10 साल की सेवा पूरी होने पर चयन वेतनमान का लाभ मिला. कहा गया कि 20 दिसंबर 2001 के शासनादेश के अनुसार बेसिक शिक्षा परिषद के अंतर्गत यदि किसी भी सहायक अध्यापक की 10 साल की सेवा पूरा हो जाती है तो उस चयन वेतनमान का लाभ मिलेगा और उसके 12 साल के बाद उसे प्रमोशनल पे स्केल का लाभ दिया जाएगा.
क्या हैं प्रावधान
प्रमोशनल पे स्केल का प्रावधान यह है कि प्रोन्नत वेतनमान स्वीकृत करने के लिए प्रत्येक साल में एक बार बेसिक शिक्षा अधिकारी की अध्यक्षता में एक चयन समिति का गठन किया जाएगा जो शिक्षक की उपयुक्तता पर विचार कर अपनी संस्कृति देगी. जिसके आधार पर नियुक्ति अधिकारी द्वारा प्रोन्नति वेतनमान स्वीकृत किया जाएगा.
प्रत्यावेदन पर कोई कार्यवाही नहीं होने का आरोप
याची ने इस शासनादेश के तहत अपनी मांग के संदर्भ में इस गवर्नमेंट ऑर्डर के अनुसार बेसिक शिक्षा अधिकारी प्रयागराज (नियुक्ति प्राधिकारी) को प्रत्यावेदन दिया लेकिन कोई कार्यवाही नहीं हुई. याची को अब तक प्रमोशनल पे स्केल का लाभ नहीं दिया गया जबकि उसे 16 फरवरी 2022 से प्रमोशनल पे स्केल का लाभ मिलना चाहिए. याची वर्तमान में प्राइमरी स्कूल महीन बहादुरपुर में सहायक अध्यापक के रूप में कार्यरत है.
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FIRST PUBLISHED : January 13, 2024, 05:00 IST