दिल्ली डिक्लेरेशन में यूक्रेन : US सहित पश्चिमी देशों और रूस के बीच भारत का बहुत संतुलित रुख

दिल्ली डिक्लेरेशन में यूक्रेन : US सहित पश्चिमी देशों और रूस के बीच भारत का बहुत संतुलित रुख

प्रतीकात्मक तस्वीर.

नई दिल्ली :

जी20 में दिल्ली घोषणा पत्र पर आम सहमति बनना भारत के लिए बहुत बड़ी उपलब्धि की बात है. यह उपलब्धि काफी मशक्कत के बाद मिली है. इसके लिए मैराथन बैठकों का दौर चला, विचार विमर्श हुआ. कई तरह की राय आईं. इसके बाद एक डिक्लेरेशन का ड्राफ्ट बना. फिर उसे राष्ट्र अध्यक्षों के सामने पेश किया गया. इस पर आम सहमति बन गई.

यह भी पढ़ें

यूक्रेन युद्ध के मद्देनजर इसमें सात पैरा हैं और उनमें तमाम ऐसी बात लिखी गई हैं जो युद्ध के खामियाजे के तौर पर निकलकर सामने आई हैं. यूक्रेन को लेकर पहले पैरा में यूएन चार्टर का हवाला देकर साफ लिखा गया है, किसी भी देश की क्षेत्रीय अखंडता को खंडित करने के लिए ताकत का प्रयोग गैरवाजिब है. जाहिर सी बात है कि यह जो पैरा है, यूक्रेन के पक्ष में है. चूंकि यूक्रेन के पक्ष में पैरा है तो पश्चिमी देशों के पक्ष में है और अमेरिका के पक्ष में है. इस तरह अमेरिका और पश्चिमी देशों को साधा गया.

भारत ने घोषणा पत्र मे रूस के पक्ष को भी साधा

आगे के पैरा में लिखा है कि जी20 का फोरम अंतरराष्ट्रीय आर्थिक सहयोग का फोरम है, न कि जियो पॉलिटिकल मसलों का. यह बात कहकर रूस के पक्ष को साधा गया क्योंकि रूस कहता रहा है कि जी20 को जियो पॉलिटिकल मसलों से दूर रखना चाहिए क्योंकि यह आर्थिक मंच है.

यूक्रेन युद्ध से किस तरह खाद्यान्न संकट पैदा हो रहा है, किस तरह अफ्रीकी देशों को, जहां यूएन जैसे संगठन के जरिए अनाज पहुंचता है, दिक्कत हो रही है. इसकी बात कही गई है. यह भी जिक्र किया गया है कि काला सागर अनाज समझौता किस तरह हुआ. इसमें तुर्की और यूएन की तारीफ भी की गई है. समझौता टूटने पर अपील भी की गई है कि इसे फिर से लागू किया जाए. 

दिल्ली घोषणा पत्र एक अहम बुनियाद बना

तमाम बातों के जरिए यह जताने की कोशिश की गई है कि भारत एक संतुलित पक्ष लेकर चल रहा है और इसी संतुलन के साथ इसमें भाषा को साधा गया है, यह अपने आप में एक अहम बुनियाद बना. जिसकी वजह से इस पर आम सहमति बनी है. यह भी कहा गया है कि सहमति बनाने में चीन जैसे देशों का अहम सहयोग रहा. 

इसमें सैन्य ताकत के इस्तेमाल को गलत बताया गया है. ऐसी तमाम बातें इसमें हैं जो आज की दुनिया को चाहिए.



Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *