डॉक्टर न होने से बिना दवा के लौटे मरीज: सुबह से पीएचसी की ओपीडी में पहुंचे मरीज, हालत बिगड़ने पर निजी अस्पताल पहुंचे

उन्नाव2 मिनट पहले

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न्यू प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में डॉक्टर के न पहुंचने से मरीजों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा। - Dainik Bhaskar

न्यू प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में डॉक्टर के न पहुंचने से मरीजों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा।

राजधानी मार्ग स्थित न्यू प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में सोमवार को समय से कोई डॉक्टर नहीं पहुंचा। इस कारण ओपीडी कराने वाले घंटों इंतजार करते रहे, जिससे मरीजों को घंटों के इंतजार के बाद बिना दवा के लौटना पड़ा। परेशान मरीजों ने संबंधित विभाग के अफसर को फोन किया वहां से भी कोई जवाब नहीं मिला। उन्नाव में स्वास्थ्य व्यवस्था की पोल खुली है।

शुक्लागंज नगर स्थित पीएचसी में ओपीडी में इलाज कराने के लिए सोमवार को नगर व आसपास से मरीज पहुंचे, जहां प्रभारी चिकित्साधिकारी के साथ कोई भी डॉक्टर दोपहर बारह बजे तक नही पहुंचा। इस कारण सैकड़ों मरीज ओपीडी का पर्चा हाथ में लिये डॉक्टरों का इंतजार करते इधर-उधर भटकते रहे। शक्तिनगर, चंपापुरवा गजियाखेड़ा, लटियारन खेड़ा, सत्यम तिवारी, मिथलेश, मुश्ताक, सुमन समेत सैकड़ों मरीज घंटों ओपीडी कराने के लिए बैठे रहे।

बुखार से पीड़ित मरीज सुनीता ने बताया कि वह सुबह दस बजे दवा लेने के लिए समय से अस्पताल पहुंचे थे। परिसर में कोई भी डॉक्टर पौने बारह बजे तक नहीं आया। हालत बिगड़ने लगी तो बाहर के निजी अस्पतालों में दवा लेनी पड़ी। इसी तरह अन्य मरीज भी दवा लेने के लिए परिसर में भटकते रहे।

न्यू प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में डॉक्टर के न पहुंचने से मरीजों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा।

न्यू प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में डॉक्टर के न पहुंचने से मरीजों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा।

मरीज का आरोप डॉक्टर बाहर की दवा लिखते हैं
अस्पताल पहुंचे मरीजों ने डॉक्टर पर आरोप लगाया है कि जब भी डॉक्टर अस्पताल आते हैं तो वह ज्यादातर दवाई बाहर के लिखते हैं। इस बात का जब विरोध किया जाता है तो वह दावों के नाम पर खाना पूर्ति कर देते हैं जिससे उन्हें आराम नहीं मिलता है।

न्यू प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में डॉक्टर के न पहुंचने से मरीजों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा।

न्यू प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में डॉक्टर के न पहुंचने से मरीजों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा।

सीएमओ ने नहीं उठाया फोन
परेशान मरीजों में मुख्य चिकित्सा अधिकारी के सीयूजी नंबर पर कई बार संपर्क करने का प्रयास किया लेकिन फोन रिसीव नहीं हो सका। जिससे मरीज डॉक्टर की अनुपस्थिति को लेकर अवगत भी नहीं कर सके ना ही उनके उपचार के लिए कोई प्रबंध कराए गए।

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