कांग्रेस सरकार ने राजनांदगांव से अलग कर दो नए जिले मोहला-मानपुर-अंबागढ़ चौकी और खैरागढ़-छुईखदान-गंडई बनाए हैं, जिनमें अब चार विधानसभा सीटें हैं। 2018 के चुनावों में, कांग्रेस ने कुल 90 सीटों में से 68 सीटें जीती थीं, जबकि भाजपा 15 सीटों के साथ दूसरे स्थान पर रही थी। जेसीसी (जे) को पांच सीटें और उसकी सहयोगी बहुजन समाज पार्टी (बसपा) को दो सीटें मिली थीं। कांग्रेस के पास वर्तमान में 71 सदस्य हैं।
भारत और इंडिया नाम को लेकर छिड़े विवाद के बीच कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने शुक्रवार को कहा कि कांग्रेस भारत को जोड़ने में लगी है और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) उसे तोड़ने में।
उन्होंने कहा कि संविधान में देश का नाम भारत और इंडिया दोनों है लेकिन भाजपा इसमें विवाद खड़ा कर रही है।
खरगे ने कहा कि यदि भाजपा को ‘इंडिया’ शब्द से नफरत है तो उन्होंने ‘स्टार्ट अप इंडिया’, ‘डिजिटल इंडिया’, ‘स्किल इंडिया’, ‘मेक इन इंडिया’ आदि योजनाओं के नाम क्यों रखा है।
खरगे आज राजनांदगांव जिले के ठेकवा गांव में कांग्रेस सरकार द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम भरोसे का सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को राज्य की भूपेश बघेल सरकार का काम देखना चाहिए और जानना चाहिए कि पांच साल में यह कैसे किया जा सकता है।
राज्य में इस वर्ष के अंत में विधानसभा चुनाव होना है।
खरगे ने कहा, ‘‘हमने 2024 के लोकसभा चुनावों के लिए एक गठबंधन ‘इंडिया’ बनाया है और अब भाजपा कह रही है कि देश का नाम इंडिया से बदलकर केवल भारत कर देना चाहिए। संविधान में ही इंडिया और भारत दोनों हैं। फिर इसमें झगड़ा क्यों हो रहा।’’
कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, ‘‘हमें कहते हैं कि हम भारत बोलने के विरोधी हैं। हमें भारत से प्रेम है। राहुल (गांधी)जी कन्याकुमारी से कश्मीर तक पैदल चले। नाम था भारत जोड़ो यात्रा। हम भारत जोड़ने में लगे हैं और आप (भाजपा) भारत तोड़ने में लगे हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘यदि आप (भाजपा) इंडिया से नफरत करते हैं तो मोदी जी ने स्टार्टअप इंडिया, डिजिटल इंडिया, खेलो इंडिया, मेक इन इंडिया आदि जैसे शब्द क्यों दिए हैं। हमें (भाजपा की) इस मानसिकता के खिलाफ लड़ना होगा।’’
नाम बदलने का यह विवाद नयी दिल्ली में जी20 नेताओं को रात्रिभोज के लिए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू द्वारा भेजे गए निमंत्रण के बाद शुरू हुआ, जिसमें प्रेसिडेंट ऑफ इंडिया के बजाए प्रेसिडेंट ऑफ भारत लिखा हुआ है।
इसे लेकर मंगलवार को हंगामा हुआ और विपक्ष ने आरोप लगाया कि मोदी सरकार इंडिया को हटाकर देश का नाम सिर्फ भारत रखने की योजना बना रही है।
खरगे ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर निशाना साधते हुए कहा, ‘‘वह दंगा प्रभावित मणिपुर की ओर देख भी नहीं रहे हैं, दूसरी तरफ जी20 की बैठक (दिल्ली में) चल रही है, जहां हर खंभे में उनकी तस्वीरें (पीएम के पोस्टर) हैं। पोस्टरों पर न तो उनके मंत्रियों की तस्वीर थी, न ही महात्मा गांधी या पंडित जवाहर लाल नेहरू की। क्या सब कुछ उनका है?’’
कांग्रेस अध्यक्ष ने केंद्र सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि ‘‘उन्होंने (भाजपा) नेहरू स्मारक संग्रहालय का नाम बदलकर प्रधानमंत्री संग्रहालय कर दिया।
पता नहीं वे लोकतंत्र की नींव रखने वाले (पूर्व प्रधानमंत्री जवाहर लाल)नेहरू जी से नफरत क्यों करते हैं। उन्होंने 14 साल जेल में बिताए। उन्हें (भाजपा को) ध्यान रखना चाहिए कि अगर बाकी लोग भी (सत्ता में) आएंगे तो ऐसा ही करेंगे।’’
खरगे ने कहा कांग्रेस हमेशा नाम के लिए नहीं गरीबों के कल्याण के लिए सोचती है। उन्होंने कहा कि हमने खाद्य सुरक्षा अधिनियम, शिक्षा का अधिकार अधिनियम बनाया लेकिन इसका नाम (हमारे नेताओं के नाम पर) नहीं रखा।
कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि हमने मनरेगा का नाम रखा लेकिन यह राष्ट्रपिता के नाम पर रखा।
उन्होंने राज्य सरकार की सराहना करते हुए कहा, 15 साल तक छत्तीसगढ़ में भाजपा की सरकार रही। मोदी साढ़े 13 साल तक गुजरात में सीएम रहे और अब 10 साल से प्रधानमंत्री हैं, लेकिन गुजरात की हालत जस की तस है। जो काम कांग्रेस सरकार ने पांच साल में छत्तीसगढ़ में किया वो आपने क्यों नहीं किया?
ऐसा इसलिए है क्योंकि आपको (प्रधानमंत्री) गरीबों की परवाह नहीं है, बल्कि आप अंबानी और अडाणी जैसे अमीरों की परवाह करते हैं।’’
उन्होंने राज्य का जिक्र करते हुए कहा कि यह मोदी का गुजरात मॉडल नहीं बल्कि कांग्रेस, भूपेश बघेल और उनके मंत्रिमंडल का मॉडल है। उन्होंने कहा, मोदी जी को बघेल सरकार का काम देखना चाहिए, तभी उन्हें पता चलेगा कि पांच साल में कैसे काम किया जा सकता है।
खरगे ने राज्य में विभिन्न मामलों में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की छापेमारी को लेकर केंद्र पर निशाना साधते हुए कहा,‘‘रायपुर में कांग्रेस के अधिवेशन (इस वर्ष फरवरी में) के दौरान छापेमारी की गई थी। उन्होंने एक दिन भी इंतजार नहीं किया क्योंकि वे कांग्रेस सरकार को बदनाम करना चाहते थे और हमारे नेताओं को धमकाना चाहते थे।’’
उन्होंने कहा, ‘‘ वे सिर्फ यह दिखाना चाहते थे कि यदि कोई उनके खिलाफ है तो ईडी और सीबीआई (केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो)उनका पीछा करेगी। छत्तीसगढ़ के लोग उनसे डरने वाले नहीं हैं और उनसे लड़ेंगे।’’
कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, यदि हम डरे होते तो हम देश की आज़ादी के लिए नहीं लड़ते। अगर हम डरे होते तो (पूर्व प्रधानमंत्री)इंदिरा (गांधी) जी और राजीव (गांधी) जी ने अपनी जान नहीं कुर्बान की होती। हम संविधान, गरीबों और महिलाओं की रक्षा करते हैं।’’
उन्होंने भाजपा के नेतृत्व वाले केंद्र सरकार से दूसरों पर उंगली उठाने के बजाय सात लाख करोड़ के घोटाले को उजागर करने वाली सीएजी रिपोर्ट पर बोलने की मांग की।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल, उनके मंत्रिमंडल के सहयोगी और पार्टी के वरिष्ठ नेता उपस्थित थे।
ठेकवा गांव राजनांदगांव विधानसभा क्षेत्र में आता है, जहां से भाजपाके राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह विधायक हैं।
अविभाजित राजनांदगांव जिले की छह विधानसभा सीटों में से कांग्रेस ने 2018 के विधानसभा चुनाव में चार पर जीत हासिल की थी। एक-एक सीट भाजपा के रमन सिंह और जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ के देवव्रत सिंह ने जीती थी। पिछले वर्ष देवव्रत सिंह के निधन के बाद खैरागढ़ सीट पर हुए उपचुनाव में कांग्रेस ने जीत हासिल की थी।
कांग्रेस सरकार ने राजनांदगांव से अलग कर दो नए जिले मोहला-मानपुर-अंबागढ़ चौकी और खैरागढ़-छुईखदान-गंडई बनाए हैं, जिनमें अब चार विधानसभा सीटें हैं।
2018 के चुनावों में, कांग्रेस ने कुल 90 सीटों में से 68 सीटें जीती थीं, जबकि भाजपा 15 सीटों के साथ दूसरे स्थान पर रही थी। जेसीसी (जे) को पांच सीटें और उसकी सहयोगी बहुजन समाज पार्टी (बसपा) को दो सीटें मिली थीं। कांग्रेस के पास वर्तमान में 71 सदस्य हैं।
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