Vastu Tips: अपने घर में इस दिशा में लगाएं बेड… नहीं तो बढ़ेगी मुश्किलें! वास्तु शास्त्री से लें सलाह

विक्रम कुमार झा/पूर्णिया. बढ़ते और बदलते जमाने में लोग धर्म कर्म को विशेष प्रधानता देते हुए अपने जीवन को मजा से जीते हैं. ऐसे में आजकल अगर आप भी वास्तु को मानते हैं तो आपके लिए जरूरी जानकारी है. अपने रूम में गलत दिशा में बेड होने से बहुत परेशानी हो सकती है. लेकिन अगर आप जानकारी के साथ बेड की दिशा और सिराहने की दिशा सही रखते है तो लाभ मिलेगा. आइए वास्तु शास्त्री एवं पंडित से जानते हैं सही दिशा और जानकारी.

बिहार के पूर्णिया के वास्तु शास्त्री एवं पंडित मनोत्पल झा कहते हैं कि अपने विश्राम कक्ष में बेड का दिशा सही होना चाहिए. बेड का निर्धारण रूम का दरवाजा करता है. रूम का दरवाजा जिस ओर रहेगा, इससे आपके बेड की दिशा निर्धारित होगी. अगर आपका मकान उत्तर मुखी है, तो आप हमेशा दक्षिण से उत्तर की ओर प्रवेश करेंगे. आपके सामने में जो उत्तर है, वह पड़ेगा. अगर आपका मकान दक्षिण मुखी है तो आपका बेड दक्षिण दिशा में पड़ेगा. शास्त्र अनुसार बेड को किस तरफ लगाना चाहिए यह बहुत जरूरी है.

बेड लगाने से पहले दिशा का निर्धारण जरूरी

सबसे पहले यह जरूरी है कि बेडरूम में हम बेड किस दिशा में लगाते हैं और सोते समय हमारा सर किस तरफ रहता है. इन बातों का जरूर ध्यान रखें. उन्होंने कहा कई लोग अपने घरों में खाली जगह और अपने साधन अनुसार बेड लगाते हैं. जिसे कोई भी दिशा से लेना देना नही. लेकिन नहीं अगर आपका बेड गलत दिशा में होता है और विश्राम करते हैं तो ऐसे में आपको नकारात्मक प्रभावों का सामना करना पड़ेगा. ऐसे में आपके घर का दरवाजा ही आपके बेड का सही निर्धारण करता है.

इस दिशा में रखे बेड, मिलेगी सफलता

पंडित जी कहते हैं की अगर आप अपने घरों में बेड लगाते है तो सबसे पहले याद रहे की आपके बेड की दिशा पूर्व और पश्चिम होने से बहुत ज्यादा लाभकारी होता है. ऐसे में उन्होंने कहा आप बेडरूम में बेड लगाते है तो याद रहे की आप अपने बेड पर जब विश्राम करें, तो आपका सिरहना या सिर हमेशा पूर्व दिशा की और पैर पश्चिम दिशा में होना चाहिए. इससे आपको मानसिक विकास के साथ बहुत ज्यादा लाभ मिलेगा.

उन्होंने कहा कई लोग अपने साधन अनुसार बेड तो पूर्व और पश्चिम दिशा में लगा लेते है और जब वह विश्राम करते हैं तो उनका सिर पश्चिम और पैर पूर्व दिशा की ओर होता है. जो बिल्कुल गलत माना जाता हैं. हालाँकि उन्होंने कहा ऐसे में उनलोगों को खास तौर पर याद रखना होगा की आपको सूर्योदय से पहले ही जागना होगा, जिससे आपके पैर की दिशा पूर्व दिशा में सूर्य देव को ना लगे.

मृत व्यक्ति को इस दिशा में सुलाया जाता है

शास्त्र और विज्ञान की मानें तो उत्तर दक्षिण दिशा में नहीं सोने की बात बताई हैं. पंडित जी कहते है कि इंसान को उत्तर दिशा की ओर अपना सिर रखकर नहीं सोना चाहिए. यह शास्त्र और वैज्ञानिक कारण भी इन दिशा को किया वर्जित. उन्होंने कहा शास्त्र में कहा गया है कि जब इंसान मृत सैय्या पर होता है, तब उसे उत्तर में सर और दक्षिण दिशा में पैर रखकर सुलाया जाता हैं. जिससे उन्हे उनकी मृत आत्मा को शांति मिलती है, इसलिए शास्त्रों मे उत्तर दिशा में सोना वर्जित है.

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