गोपालगंज. उत्तर प्रदेश की वजह से बिहार के सीमावर्ती इलाकों में कई पेट्रोल पंप बंद होने के कगार पहुंच गए हैं. सुनने में आपको ये भले ही अटपटा लगे लेकिन ये सच है क्योंकि बिहार के पेट्रोल पंप संचालक लगातार घाटे में जा रहें हैं, इसका कारण यूपी और बिहार में डीजल-पेट्रोल के रेट में बड़ा अंतर होना है. दरअसल गोपालगंज जिला यूपी के देवरिया और कुशीनगर की सीमा से जुड़ा है. उत्तर प्रदेश से सटे गोपालगंज के आठ प्रखंड आते हैं. यहां डेढ़ दर्जन पेट्रोल पंप चलते हैं, लेकिन यूपी और बिहार में तेल की रेट में अंतर होने से तीन पेट्रोल पंप बंद हो चुके हैं. जबकि छह पेट्रोल पंप बंद होने के कगार पर है.
इनकी वजह से बिहार की तुलना में उत्तर प्रदेश में सस्ता डीजल-पेट्रोल होना. इलाके के लोगों का कहना है कि बिहार-यूपी में पेट्रोल-डीजल के रेट का बड़ा अंतर लोकसभा चुनाव में मुद्दा बनेगा. सीमावर्ती इलाके के पेट्रोल पंप मालिकों का कारोबार बंद हो रहा है तो वहीं बिहार की राज्य सरकार को भी डीजल के अवैध कारोबार से करोड़ों रुपए के राजस्व का नुकसान हो रहा है. उत्तर प्रदेश में बिहार से डीजल 5.55 रुपए तो पेट्रोल 12.32 रुपये सस्ता है. वजह है नीतीश सरकार द्वारा पेट्रोल और डीजल पर बहुत ज्यादा वैट और सरचार्ज लगाना.
150 लाख लीटर गोपालगंज में बिकता था डीजल
गोपालगंज जिला में हर महीने करीब 150 लाख लीटर डीजल बिकता था, जो घटकर 40 से 55 लाख लीटर रह गया है. पेट्रोल पंप संचालक बताते हैं कि सड़क, कल-कारखाना और अन्य परियोजनाओं के लिए गोपालगंज में काम कर रहीं कंपनियां सीमावर्ती यूपी से डीजल खरीद कर अवैध रूप से छोटे टैंकरों में गोपालगंज ला रही हैं. इसी कारण बिहार सरकार को करोड़ों रुपए के वैल्यू ऐडेड टैक्स (वैट) का नुकसान हो रहा है.
बड़ी गाड़ियां यूपी के बाद बंगाल में भरवाती है तेल
दूर-दराज के इलाकों में खुदरा बिक्री और किसानों के इस्तेमाल के लिए भी उत्तर प्रदेश से डीजल लाकर बेचा जा रहा है. इतना ही नहीं बिहार से होकर बंगाल और असम को जानेवाली माल वाहक बड़ी गाड़ियां भी यूपी में तेल सस्ता होने की वजह से टंकी फुल करा लेते हैं. इसक कारण एनएच-27 से जुड़े पेट्रोल पंप बंद होने के कगार पर है. उत्तर प्रदेश से गोपालगंज में हो रही डीजल-पेट्रोल की तस्करी में इस्तेमाल हो रहे गैलेन और टैंकर सुरक्षा की दृष्टि से भी खतरनाक हैं.
पेट्रोल पंप संचालकों की सुनिए पीड़ा
गोपालगंज के पेट्रोल पंप के संचालक सुकेदव कुमार का कहना है कि यूपी सीमा से सटे तीन पेट्रोल पंप पहले ही बंद हो चुके हैं. अभी कई और पेट्रोल पंप उत्तर प्रदेश से हो रही तस्करी के कारण काफी नुकसान में चल रहे हैं. गोपालगंज में करीब 28 पेट्रोल पंप हैं. उसमें से 15 उत्तर प्रदेश से सटे सीमावर्ती इलाके पर स्थित हैं. पहले हर महीने 50 हजार से एक लाख लीटर तक डीजल की बिक्री होती थी, लेकिन अब मात्र एक हजार लीटर तक की ही हो रही है. उत्तर प्रदेश की सीमा से कुचायकोट, उचकागांव, फुलवरिया, कटेया, पंचदेवरी, भोरे, विजयीपुर और हथुआ प्रखंड के पेट्रोल पंप का भी यही स्थिति है.
यूपी के कारण बिहार के पेट्रोल पंपों पर लगातार ताले लटक रहे हैं
आंकड़ें से रेट में अंतर समझिए
यूपी के कुशीनगर में पेट्रोल की कीमत 96.69 लीटर है. गोपालगंज में पेट्रोल की कीमत 109.01 रुपए लीटर है. यहां पेट्रोल की रेट में 12 रुपए 32 पैसे प्रति लीटर का बड़ा अंतर है. यूपी के कुशीनगर में डीजल की कीमत 89.87 लीटर है, गोपालगंज में डीजल की कीमत 95.42 रुपए लीटर है. यहां डीजल के रेट में 5 रुपए 55 पैसे प्रति लीटर का बड़ा अंतर है.
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FIRST PUBLISHED : January 4, 2024, 11:07 IST