नई दिल्ली:
पेटीएम (Paytm) और उसके निवेशकों के लिए मुश्किलों का दौर खत्म होने का नाम नही ले रहा है. पहले आरबीआई के पेमेंट बैंक (RBI Ban On Paytm Payments Bank) पर सख्ती की. जिसके बाद से लगातार कंपनी के शेयर गिरते जा रहा हैं. अब ब्रोकरेज हाउस मैक्वायरी (Macquarie Equity Research) ने पेटीएम की पैरेटं कंपनी वन 97 कम्यूनिकेशंस (One 97 Communications Ltd.) की रेटिंग डाउनग्रेड को करके ‘underperform’ में डाल दिया है. इसके साथ ही पेटीएम के लिए टारगेट प्राइस भी घटा दिया है. आज बाजार खुलते ही मैक्वायरी के इस कदम का असर पेटीएम के शेयरों (Paytm Stock Price) पर भी देखने को मिल रहा है. कंपनी के शेयर आज ऑल टाइम लो पर पहुंच गए.
52-वीक लो पर पहुंचे पेटीएम के शेयर
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आज पेटीएम का शेयर 403.00 रुपये पर खुला. जिसके बाद शुरुआती कारोबार के दौरान यह 382.00 पर चला गया जो कि इसका 52-वीक लो लेवल है. इसके साथ ही पेटीएम का मार्केट कैप घटकर 24.28 हजार करोड़ हो गया. बीते दिन यह शेयर 422.20 के लेवल पर बंद हुआ था.
पेटीएम के लिए ‘अस्तित्व की लड़ाई’
मैक्वायरी ने ‘Fighting for survival’ नाम से एक ताजा रिपोर्ट जारी की है. जिसमें ब्रोकरेज हाउस ने पेटीएम का टारगेट प्राइस 650 रुपये से घटाकर सीधा 275 रुपये कर दिया है, जो कि 58% कम है. रिपोर्ट में मैक्वायरी ने इस टारगेट कटौती को लेकर कहा है कि हालिया आदेशों के बाद, पेटीएम को ग्राहकों के पलायन के गंभीर खतरे का सामना करना पड़ रहा है, जो इसके मॉनेटाइजेशन और बिजनेस मॉडल को काफी खतरे में डाल रहा है.
पेटीएम के पास इस वक्त 33 करोड़ ग्राहक हैं जिसमें से 11 करोड़ मंथली ट्रांजैक्टिंग यूजर्स (MTU) हैं. कंपनी के पास 1 करोड़ मर्चेंट्स का कुनबा भी है.
पेटीएम पर मैक्वायरी की रिपोर्ट
- पेटीएम का टारगेट प्राइस 650 रुपये से घटाकर 275 रुपये, 58% की बड़ी कटौती
- पेटीएम को ग्राहकों के छोड़कर जाने के गंभीर खतरे का सामना करना पड़ रहा है
- ये पेटीएम के मॉनेटाइजेशन और बिजनेस मॉडल को बड़े खतरे में डाल रहा है
- पेटीएम के पास 33 करोड़ ग्राहक, 11 करोड़ मंथली ट्रांजैक्टिंग यूजर्स (MTU) हैं
- पेटीएम के पास इस वक्त 1 करोड़ से ज्यादा मर्चेंट्स का कुनबा भी है
मैक्वायरी ने लिखा है कि हम आय में भी तेज कटौती कर रहे हैं, क्योंकि हम पेमेंट्स और डिस्ट्रीब्यूशन बिजनेस आय दोनों में ही FY25/26E के दौरान 60-65% तक की कटौती देख रहे हैं. पेमेंट बैंक ग्राहकों को दूसरे बैंक के अकाउंट में ट्रांसफर करना या मर्चेंट अकाउंट्स को किसी दूसरे बैंक अकाउंट्स में ट्रांसफर करने के लिए पार्टनर्स के साथ हमारे चैनल चेक्स के आधार पर फिर से KYC कराने की जरूरत होगी, जो कि ये दर्शाता है कि ये काम रिजर्व बैंक की दी गई डेडलाइन 29 फरवरी तक ऐसा कर पाना एक बहुत मुश्किल काम होगा.
क्या कहती है ये रिपोर्ट?
- पेमेंट्स और डिस्ट्रीब्यूशन बिजनेस आय दोनों में ही कटौती
- FY25/26E के दौरान दोनों में ही 60-65% तक की कटौती
- पेमेंट बैंक ग्राहकों को दूसरे बैंक में ट्रांसफर करना आसान नहीं
- इन करोड़ों ग्राहकों को फिर से KYC कराने की जरूरत होगी
- 29 फरवरी तक ऐसा कर पाना एक बहुत मुश्किल काम होगा
कुछ लेंडिंग पार्टनर्स के साथ हमारी जांच में ये सामने आया है कि वो पेटीएम के साथ अपने रिश्तों की समीक्षा कर रहे हैं, जिससे लेंडिंग बिजनेस में गिरावट आ सकती है, क्योंकि ये लेंडिंग पार्टनर्स पेटीएम के साथ अपने रिश्तों को खत्म कर सकते हैं या फिर उसमें कटौती कर सकते हैं. ए बी कैपिटल जो कि पेटीएम के सबसे बड़े लेंडिंग पार्टनर्स में से एक है, उसने पहले ही पेटीएम में अपने BNPL एक्सपोजर को 2000 करोड़ रुपये से घटाकर 600 करोड़ रुपये कर दिया है, और हमारा अनुमान है कि ये और भी कम हो सकता है.