:
Oral Hygiene: ओरल हाइजीन अत्यंत महत्वपूर्ण है क्योंकि यह हमारे मुंह और दांतों की स्वास्थ्य और साफ-सुथरी को बनाए रखने में मदद करता है. ओरल हाइजीन करने से मुंह के अन्दर की बैक्टीरिया और कीटाणुओं को नियंत्रित किया जा सकता है, जिससे मुँह के संक्रमणों से बचा जा सकता है. ओरल हाइजीन से दांतों की सफाई की जा सकती है, जिससे दांतों की छिद्रों में जमी चर्बी, खाद्य अवशेष और बैक्टीरिया को हटाया जा सकता है. मुंह से आने वाली बदबू को कम किया जा सकता है, जो अन्य लोगों के साथ व्यक्तिगत संबंधों में अवांछित हो सकती है.
ये भी पढ़ें: कब्ज की समस्या क्या है, जानें इसके कारण और उपचार
इससे मुंह की स्वास्थ्य को बनाए रखने से मुंह की अस्थिरता और संघनिता का नियंत्रण किया जा सकता है. अच्छी ओरल हाइजीन रखने से सामाजिक और व्यक्तिगत स्वास्थ्य में सुधार होता है, क्योंकि यह अच्छे संबंधों को बनाए रखता है. ओरल हाइजीन एक महत्वपूर्ण आदत है जो मुख में मौजूद बाक्टीरिया को नियंत्रित करती है और मुंह की स्वास्थ्य को बनाए रखने में मदद करती है. यह आदत विभिन्न उपायों को सम्मिलित करती है जैसे कि दांतों की सफाई, मुंह का शुद्धि के लिए जल प्रयोग, और नियमित दंतचिकित्सीय जांच. ओरल हाइजीन में शामिल होती हैं:
ब्रशिंग
दिन में कम से कम दो बार दांतों की ब्रशिंग करनी चाहिए, खासकर सोने से पहले और सुबह उठते ही. इससे मुंह के बाक्टीरिया को हटाया जा सकता है और मुंह की बदबू को कम किया जा सकता है.
फ्लॉसिंग
ब्रशिंग के बाद, दांतों के बीच की छेदों को साफ करने के लिए फ्लॉसिंग करें. ब्रशिंग के बाद, फ्लॉस का उपयोग करें ताकि दांतों के बीच की छेदों में जमी चर्बी और खाद्य अवशेषों को हटाया जा सके.
ये भी पढ़ें: Neem Benefits: नीम के गुणों में छिपा है जवान रहने का राज, फायदे जानकर रहे जाएंगे दंग
मुंह का जल प्रयोग
ब्रशिंग और फ्लॉसिंग के बाद, मुंह को जल से कुछ समय तक धोना चाहिए.
मुंह के बीच की सफाई
ब्रशिंग और फ्लॉसिंग के बाद, एक टंगे या टंगा उपयोग करके मुँह के बीच की सफाई करें.
दंतचिकित्सीय जांच
नियमित अंतराल पर दंतचिकित्सीय जांच कराना चाहिए, ताकि किसी भी दांतों या मुंह की समस्या को समय रहते पहचाना और उपचार किया जा सके. साल में कम से कम दो बार दंतचिकित्सीय जांच कराएं ताकि किसी भी दांतों की समस्या को समय पर पहचाना और उपचार किया जा सके. ओरल हाइजीन का पालन करने से मुंह की बदबू, दांतों की समस्याएं, और मुंह के रोगों का कम होने में मदद मिलती है. यह स्वस्थ और स्वच्छ मुंह की संवेदनशीलता को बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है.
ये भी पढ़ें: Symptoms of Pneumonia: निमोनिया कैसे आपके श्वसन तंत्र को करता है प्रभावित, जानें इसके लक्षण और इलाज