चर्च ने भाजपा की सदस्यता लेने वाले पादरी को चर्च से निकाल दिया है। चर्च के मुताबिक फादर मैटम को आदिमाली के पास मनकुवा सेंट थॉमस चर्च में पैरिश कर्तव्यों से अस्थायी तौर से मुक्त कर दिया गया है। इडुक्की डायोसीज ने बयान जारी किया है।
केरल के इडुक्की में सिरो मालाबार चर्च के कैथोलिक पादरी फादर कुरियाकोस मट्टम को सोमवार को भाजपा में शामिल हो गए। मगर इसके बाद कुछ ऐसा हुआ जिसकी किसी को उम्मीद नहीं थी। भाजपा का दामन थामने के बाद चर्च ने पादरी फादर कुरियाकोस मट्टम को उनके पद से अस्थायी तौर पर हटा दिया है।
चर्च ने भाजपा की सदस्यता लेने वाले पादरी को चर्च से निकाल दिया है। चर्च के मुताबिक फादर मैटम को आदिमाली के पास मनकुवा सेंट थॉमस चर्च में पैरिश कर्तव्यों से अस्थायी तौर से मुक्त कर दिया गया है। इडुक्की डायोसीज ने बयान जारी किया है। बयान में कहा गया कि मनकुवा चर्च के फादर मट्टम को पादरी के तौर पर उनके कर्तव्यों से मुक्त किया गया है। चर्च ने ये कदम कुछ ही घंटों में उठाया जब पादरी ने भाजपा की सदस्यता ली थी। जानकारी है कि पादरी ने भाजपा की सदस्यता गांधी जयंती पर ली थी।
चर्च के प्रवक्ता ने भी इस संबंध में बयान दिया है। चर्च के प्रवक्ता के अनुसार पादरी के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की गई है क्योंकि पार्टी की सदस्यता लेना चर्च के नियम के तहत नियम का उल्लंघन है। दरअसल चर्च का नियम है कि चर्च का कोई भी पादरी किसी राजनीतिक दल में शामिल नहीं हो सकता। साथ ही यह भी नियम है कि कोई पादरी राजनीतिक दल में सक्रिय तौर पर भागीदारी नहीं ले सकता है।
जानकारी के मुताबिक 74 वर्षीय पादरी मातम आगामी कुछ ही महीना में सेवानिवृत हो जाएंगे। पादरी के भाजपा में शामिल होने की जानकारी एक फेसबुक पोस्ट के जरिए सामने आई थी। वही पादरी ने यह भी कहा है कि भाजपा में शामिल न होने का उन्हें कोई ठोस कारण नहीं मिल रहा। उन्होंने कहा कि वहां कई समसामयिक मुद्दों पर अपनी नजर बनाए रखते है। उन्होंने यह भी बताया कि भाजपा के कई कार्यकर्ता उनके दोस्त हैं। ऐसे में पादरी का भाजपा में शामिल होना बड़ा मुद्दा नहीं है।
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