Health Tips: बरसाती बीमारियों से बचने के लिए पिएं आयुर्वेदिक चाय, गैस और कब्ज से मिलेगी निजात

स्वस्थ और सेहतमंद बने रहने के लिए डाइजेशन का सही होना बहुत ज्यादा जरूरी होता है। डाइजेशन सही न होने पर हमारे शरीर में फैट जमा होने लगता है और वजन बढ़ने का खतरा बना रहता है। इस आयुर्वेदिक चाय को पीने से आपको गैस और ब्लोटिंग की समस्या से राहत मिलेगी।

स्वस्थ और सेहतमंद बने रहने के लिए डाइजेशन का सही होना बहुत ज्यादा जरूरी होता है। क्योंकि डाइजेशन सही न होने पर हमारे शरीर को कई तरह की बीमारियां घेर लेती हैं। जब खाना सही से नहीं पच पाता है, तो शरीर को खाने से एनर्जी नहीं मिलती है। इससे शरीर को कई तरह के नुकसान हो सकते हैं। डाइजेशन सही न होने पर हमारे शरीर में फैट जमा होने लगता है और वजन बढ़ने का खतरा बना रहता है। 

खासकर, मानसून में आपका डाइजेशन सिस्टम ज्यादा कमजोर हो सकता है। बारिश के मौसम में अधिकतर लोगों को अपच, गैस और ब्लोटिंग की समस्या परेशान हो जाती है। इस समस्या से निजात पाने के लिए आयुर्वेदिक चाय का सेवन कर सकती हैं। आइए जानते हैं आयुर्वेदिक चाय के बारे में…

क्यों होती है पेट से जुड़ी दिक्कतें

बारिश के मौसम में पेट संबंधी समस्या होना आम बात है। हालांकि इसके पीछे कई कारण हो सकते हैं। क्योंकि बारिश में बैक्टीरिया और वायरस ज्यादा सक्रिय रहते हैं। या फिर आप कोई गलत डाइट लेते हैं, या आपकी इम्यूनिटी कमजोर है, तो ऐसी स्थिति में आपका पाचन गड़बड़ हो सकता है। अक्सर लोग स्वाद के चक्कर में बाहर का खाना या ज्यादा तला-भुना खा लेते हैं। ऐसे में ब्लोटिंग या गैस की समस्या होती है।

आयुर्वेदिक चाय पिएं

ऐसे में अगर आप भी मानसून में डाइजेशन से जुड़ी समस्या से निजात पाना चाहते हैं तो आपको आयुर्वेदिक चाय का सेवन करना चाहिए। इस चाय के सेवन से पेट में ऐंठन, ब्लोटिंग, भारीपन और गैस की समस्या से निजात मिल सकती है।

आयुर्वेदिक चाय की सामग्री

हींग- 1/4 टीस्पून (घी में भुनी हुई)

सेंधा नमक-1/4 टीस्पून

जीरा पाउडर- 1/2 टीस्पून

पानी- 300 मि.ली. लगभग

ऐसे बनाएं

सबसे पहले पानी में सभी चीजों को मिला लें।

फिर इस पानी को 5 मिनट तक पानी में उबालें।

इसके बाद इसे छाने बिना ही पिएं।

इससे आपके डाइजेशन सिस्टम में सुधार होगा।

गैस और ब्लोटिंग की समस्या दूर होगी।

डिस्क्लेमर: इस लेख के सुझाव सामान्य जानकारी के लिए हैं। इन सुझावों और जानकारी को किसी डॉक्टर या मेडिकल प्रोफेशनल की सलाह के तौर पर न लें। किसी भी बीमारी के लक्षणों की स्थिति में डॉक्टर की सलाह जरूर लें।

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