Dumri Assembly by-election: बेबी और यशोदा की किस्मत ईवीएम में बंद, लाल आतंक के गढ़ में बंपर वोटिंग

एजाज अहम/गिरिडीह. पूर्व शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो के निधन से खाली हुई डुमरी सीट पर उपचुनाव संपन्न हो गया. डुमरी उपचुनाव के लिए एनडीए की ओर से आजसू की प्रत्याशी यशोदा देवी और इंडिया गठबंधन की ओर से जेएमएम कैंडिडेट बेबी देवी के बीचे कड़ा मुकाबला माना जा रहा है. चुनाव परिणाम आठ सितंबर को आएगा. अब इसका इंतजार इसलिए भी बढ़ गया है क्योंकि डुमरी विधानसभा क्षेत्र का कई पंचायत नक्सल प्रभावित और अतिनक्सल प्रभावित क्षेत्र है, लेकिन यहां बंपर मतदान हुआ है. बताया जा रहा है कि जहां पहले लोग नक्सलियों के खौफ से वोट डालने के लिए अपने घरों से बाहर तक नहीं निकलते थे, अब नक्सलियों के गढ़ में जबरदस्त वोटिंग हुई.

दरअसल, मतदान को शांतिपूर्ण माहौल में सम्पन्न कराना पुलिस- प्रशासन के लिए एक बड़ी चुनौती थी. यही कारण है कि मतदान को लेकर पुलिस पूरी तरह से मुस्तैद थी. मतदानकर्मियों को बूथों तक पहुंचाने ओर मतदान सम्पन्न कराने तक के लिए विशेष सुरक्षा व्यवस्था की गई थी. गिरिडीह एसपी अमित रेणु खुद पूरे इलाके में सुबह से ही गश्त करते दिखे.

नक्सल प्रभावित छछंदो, दलानचलकरी, जोभी, मोहनपुर, बरियारपुर, बरमसिया, अटकी, फतेहपुर, मतियोबेरा, धावाटांङ, आतकी, जरीडीह, भवानंद, चूतरूम बेङा, टेसाफुली, अमरा, निमियाघाट, नागाबाद, ससरखो, नुरंगो, चिनीकीरो आदि नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में जमकर वोटिंग हुई. नक्सली संगठन भाकपा माओवादी के सबसे सेफ जोन पारसनाथ की तराई के अलावा एक करोड़ के इनामी नक्सली गोपाल उर्फ अनल उर्फ पतिराम मांझी के गांव से सटे इलाके में भी जमकर पोलिंग हुई. वहीं, कुख्यात नक्सली अजय महतो के गांव से सटे डुमरी के इलाके में भी खूब मतदान हुआ.

एसपी के अतिरिक्त एएसपी अभियान गुलशन तिर्की, गिरिडीह एसडीपीओ अनिल कुमार सिंह, डुमरी एसडीपीओ मनोज कुमार, सरिया – बगोदर एएडीपीओ नोशाद आलम, डुमरी इंस्पेक्टर आदिकान्त महतो, जमुआ इंस्पेक्टर नवीन कुमार सिंह, बेंगाबाद इंस्पेक्टर कमलेश पासवान, पीरटांड़ थाना प्रभारी डिलशन बिरुवा, बगोदर थाना प्रभारी नितीश कुमार, ताराटांड़ थाना प्रभारी विकास पासवान, नितिन झा के अलावे तमाम पुलिस पदाधिकारी व जवान दिन भर इलाके के घूम – घूम कर स्तिथि का जायजा लेते रहे.

पुलिस – प्रशासन की मुस्तैदी देख काफी संख्या में लोग वोटिंग के लिए घरों से बाहर निकले और मतदान करने के लिए घरों से बाहर निकलते रहे. न्यूज18 ने उन बूथों का जायजा लिया जो बूथ एक करोड़ के इनामी नक्सली अनल के गांव से सटा हुआ है. अनल के गांव झरहा से सटा हुआ डुमरी का अकबकीटांड, खुद्दीसार, मंझलाडीह गांव है. इन गांव में सुबह से मतदाता घरों से निकले. यहां एक बात और बता दें कि चार वर्ष पूर्व यहीं के अकबकीटांड में पुलिस ने एक साथ 15 नक्सलियों को पकड़ा था.

डुमरी के इलाके में शांतिपूर्ण मतदान हो इसके लिए जिला पुलिस व सीआरपीएफ के अधिकारी और जवान सुबह से तैनात रहे. सुरक्षा बल के जवान डुमरी के हर अतिसंवेदनशील बूथ का जायजा लेते रहे. जबकि एसपी दीपक कुमार शर्मा झरहा से सटे अकबकीटांड बूथ के अलावा कई बूथों पर पहुंचे. वहीं, अकबकीटांड, नागाबाद के इलाके में एएसपी अभियान गुलशन तिर्की भी लगातार कैम्प किये हुए रहे.

एएसपी ने यहां मतदाताओं के अलावा पोलिंग पार्टी से बात की. दूसरी तरफ सदर एसडीपीओ अनिल कुमार सिंह, डीएसपी मुख्यालय संजय कुमार राणा, डुमरी एसडीपीओ सुमित प्रसाद, सरिया बगोदर एसडीपीओ नोशाद आलम, खोरीमहुआ एसडीपीओ मुकेश कुमार महतो के अलावा तमाम पुलिस पदाधिकारी सुबह से लगातार बूथों पर तैनात थे.

इसके अलावा डुमरी के नुरंगों से सटे मुफ्फसिल थान इलाके के बारागढ़ा इलाके ने मुफ्फसिल थाना प्रभारी कमलेश पासवान सदलबल के साथ गश्त करते रहे. चूंकि यह इलाका 15 लाख के इनामी नक्सली कृष्णा का इलाका है, फिलहाल कृष्णा हांसदा जेल में हैं, लेकिन इसके बावजूद पुलिस इस इलाके में खास तौर पर नजर रखी गई.

नक्सलियों के खौफ के कारण किसी जमाने में लोग वोटिंग के लिए सामने नहीं आते थे, लेकिन अब ऐसा माहौल नहीं है. इस इलाके में इलाके में पिकेट खुल चुका है. बाजार भी पूरी तरह से दिनभर रौनक रहती है. जिस कारण इलाके में बड़ा बदलाव हुआ है. छछंदो, दलानचलकरी, जोभी, मोहनपुर, बरियारपुर, बरमसिया, अटकी, फतेहपुर, मतियोबेरा, धावाटांङ, आतकी, जरीडीह, भवानंद, चूतरूम बेङा, टेसाफुली, अमरा, निमियाघाट, नागाबाद, ससरखो, नुरंगो, चिनीकीरो आदि इलाके में खूब वोटिंग हुई.

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