CCSU के स्टूडेंट को अब नहीं जाना होगा IIT-JNU, यूनिवर्सिटी कैंपस में ही मिलेंगी ये खास सुविधा

विशाल भटनागर/मेरठ: चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय परिसर में संचालित, बॉटनी डिपार्टमेंट, जेनेटिक्स एंड प्लांट ब्रीडिंग विभाग, टॉक्सोलॉजी, सहित अन्य डिपार्टमेंट के स्टूडेंट को शोध के लिए उपयोग होने वाली विभिन्न मशीनों के लिए अब दिल्ली से संबंधित इंस्टिट्यूट में जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी. जल्द ही चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय परिसर में आधुनिक लैब में इस तरह की सभी मशीन स्टूडेंट को उपलब्ध कराई जाएगी. जिसके लिए डीएसटी फर्स्ट अर्थात डिपार्मेंट आफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी. फंड फोर इंप्रूवमेंट का साइंस एंड टेक्नोलॉजी इंफ्रास्ट्रक्चर इन यूनिवर्सिटीज के तहत विश्वविद्यालय को 2 करोड़ 9 लाख रुपये का फंड उपलब्ध कराया गया है. जिसके माध्यम से विश्वविद्यालय अब शोध की नई मशीन खरीदेगा.

कृषि संकाय अध्यक्ष प्रोफेसर शैलेंद्र शर्मा ने बताया कि जेनेटिक्स एंड प्लांट ब्रीडिंग डिपार्मेंट को जो यह अनुदान मिला है. यह बहुत बड़ी उपलब्धि है. इसके माध्यम से अब लाइफ साइंस रिसर्च के लिए नई मशीन खरीदी जाएंगी. इसके लिए विश्वविद्यालय में लैब का निर्माण लगभग पूरा हो चुका है. उन्होंने बताया कि इस आधुनिक लैब में स्टूडेंट मशीनों के माध्यम से अपने रिसर्च वर्क को समय से पूरा कर पाएंगे. उन्होंने बताया कि अभी तक स्टूडेंट को आधुनिक मशीनों पर वर्क करने के लिए आईआईटी, जेएनयू सहित अन्य विश्वविद्यालय की तरफ जाना पड़ता था. जिससे स्टूडेंट का काफी समय लगता था. इस समय का उपयोग करते हुए अब युवा बेहतर रिसर्च कर पाएंगे.

आमजन को भी मिलेगी राहत
प्रोफेसर शैलेंद्र सिंह गौरव ने बताया कि विश्वविद्यालय डिपार्टमेंट में जो भी रिसर्च किए जाते हैं. वह सभी आम जनमन से सीधा संबंध रखते हैं. उन्होंने बताया कि कृषि संकाय से संबंधित सभी डिपार्टमेंट किसानों से संबंधित है. रिसर्च किए जाते हैं जिससे कि किसान बेहतर फसल उगा सके. आने वाले समय में इसके सुखद परिणाम देखने को मिलेंगे. क्योंकि जिस तरीके से स्टूडेंट को रिसर्च करने में अब सुविधा मिलने वाली है. उससे पेटेंट की संख्या बढ़ेगी. जब नई रिसर्च पब्लिश होंगे. तो उसका फायदा सीधे किसान और आम जनता को पहुंचेगा.

स्टूडेंट ने जताई खुशी
विश्वविद्यालय में रिसर्च कर रही काजल ने कहा कि अब उन्हें काफी राहत मिलेगी. पहले उन्हें पढ़ाई के साथ ही जब दिल्ली की तरफ जाना पड़ता था. तो उसमें काफी समय बर्बाद होता था. लेकिन अब उसे समय का वह सदुपयोग करते हुए रिसर्च के क्षेत्र में समय पर कार्य कर पाएंगी. बताते चले की चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय की कुलपति प्रोफेसर संगीता शुक्ला , कुलसचिव धीरेंद्र कुमार वर्मा सहित अधिकारियों नेजेनेटिक्स एंड प्लांट ब्रीडिंग विभाग को इस ग्रांट मिलने पर बधाई दी.

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