परमजीत कुमार/देवघर. आज 31 अगस्त को सावन पूर्णिमा के साथ ही श्रावनी मेला का समापन हो रहा है. आज पूर्णिमा समाप्त होने के साथ ही बैद्यनाथ मंदिर से अर्घा हटा दिया जाएगा. इसके बाद भक्त स्पर्श पूजा कर सकेंगे. इस बार 19 साल बाद सावन में मलमाल पड़ा, लिहाजा श्रावणी मेला पूरे दो माह तक रहा है. बता दें कि राजकीय श्रावनी मेला के आयोजन के साथ ही देश-विदेश से शिव भक्तों का आना शुरू हो जाता था. भीड़ को देखते हुए सावन में स्पर्श पूजा को बंद कर अर्घा लगा दिया गया था.
श्रावनी मेला में लाखों लाख श्रद्धालु देवघर बाबा धाम पहुंचते हैं. अब श्रद्धालु जलार्पण कर सकें. इसके लिए अर्घा सिस्टम लगाया जाता है. आज यानी 31 अगस्त की दोपहर मंदिर का पट बंद होने के बाद अर्घा को खोल दिया जाएगा. पट खुलने के बाद बाबा बैद्यनाथ मंदिर में स्पर्श पूजा प्रारंभ हो जाएगी. बाबा बैद्यनाथ मंदिर में स्पर्श पूजा का महत्व ज्यादा है.
1 सितंबर से भाद्र मेले की शुरुआत
बहरहाल, 31 अगस्त को श्रावणी मेला खत्म होते ही भाद्र मेला की शुरुआत हो जाएगी. मान्यता के अनुसार, एक महीना तक चलने वाले भाद्र मेला में मुख्य रूप से गृहस्थ जीवन से जुड़े लोग सुल्तानगंज से जल भरकर 105 किलोमीटर की पदयात्रा कर बाबा बैद्यनाथ धाम जलाभिषेक करने के लिए पहुंचते हैं. इसके बाद बाबा भोलेनाथ की स्पर्श पूजा करते हैं.
.
FIRST PUBLISHED : August 31, 2023, 09:05 IST