Halwa Ceremony 2024: 1 फरवरी को देश का बजट आना है उससे पहले आज वित्त मंत्री (FM Nirmala Sitharaman) ने हलवा सेरेमनी (Halwa ceremony) को मनाया है. बुधवार को नॉर्थ ब्लॉक में हलवा सेरेमनी के साथ बजट की प्रक्रिया को शुरू कर दिया है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने हलवा सेरेमनी की रस्म को पूरा करते हुए सभी अधिकारियों को हलवा बांटा है.
माना जाता है कि हलवा सेरेमनी के बाद से ही बजट की छपाई का प्रोसेस शुरू हो जाता है. इसमें अधिकारियों को कमरे में कैद कर दिया है. बजट छापने वाले अधिकारियों को वहां से बाहर जाने की परमिशन नहीं होती है. वहीं, कोरोना के बाद से सरकार पेपरलेस बजट पेश कर रही है. इस बार भी पेपरलेस बजट ही पेश किया जाएगा.
#WATCH | Delhi | The Halwa ceremony, marking the final stage of the Budget preparation process for Interim Union Budget 2024, was held in North Block, today, in the presence of Union Finance & Corporate Affairs Minister Nirmala Sitharaman and Union Minister of State for Finance… pic.twitter.com/wjoyI5QqQ3
— ANI (@ANI) January 24, 2024
100 से ज्यादा अधिकारी होंगे कैद
आज से यानी 24 जनवरी से 100 से ज्यादा अधिकारी बजट छापने की प्रक्रिया में लग गए हैं. बजट पेश होने तक ये सभी अधिकारी नॉर्थ ब्लॉक में ही रहेंगे. बजट पेश होने के बाद ही इन लोगों को बाहर जाने की परमिशन मिलेगा.
कहां मनाई जाती है हलवा सेरेमनी?
हलवा सेरेमनी की ये परंपरा दशकों से चली आ रही है. यह परंपरा नॉर्थ ब्लॉक के नीचे बेसमेंट में बजट प्रेस में मनाई जाती है. हलवा बनने के बाद में ही बजट की छपाई शुरू की जाती है. जिस दिन हलवा बन जाता है उसके बाद से बजट छापने वाले कर्मचारी और अधिकारी वहीं रहते हैं.
10 दिन तक नॉर्थ ब्लॉक में बंद रहते हैं कर्मचारी
वित्त मंत्री सचिवालय के नॉर्थ ब्लॉक में बड़ी सी कढ़ाई में हलवा बनाती हैं. इसके बाद में हलवे को सभी लोगों में बांटा जाता है. हलवा सेरेमनी होने के बाद में ही वित्त मंत्रालय के 100 से ज्यादा कर्मचारी करीब 10 दिन तक नॉर्थ ब्लॉक के बेसमेंट में बंद रहते हैं. उनको वहां से बाहर जाने की परमिशन नहीं होती है. वे सभी कर्मचारी वित्त मंत्री के बजट भाषण के बाद में ही वहां से बाहर निकल सकते हैं. यह इसलिए किया जाता है, जिससे बजट से जुड़ी कोई भी जानकारी पहले लीक न हो.
आजादी से पहले की है परंपरा
हलवा सेरेमनी की परंपरा आज की नहीं है बल्कि यह आजादी से पहले से चली आ रही है. हलवा सेरेमनी बजट पेश करने की सभी तैयारियां पूरी होने के बाद किया जाती है. इस हलवा सेरेमनी में वित्त मंत्रालय के तमाम अधिकारी और कर्मचारी मौजूद रहते हैं.