Youth Heart Attack: रविवार को नोएडा में क्रिकेट खेलते समय एक इंजीनियर मैदान पर गिर गया और हार्ट अटैक से उसकी मौत हो गई. इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. हालांकि यह पहली घटना नहीं है, पिछले 15 दिनों में सिर्फ दो राज्यों मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश में क्रिकेट खेलते हुए युवाओं की मौत के 6 मामले सामने आ चुके हैं. वहीं कई ऐसे वीडियो भी वायरल हो रहे हैं, जिनमें युवाओं को खड़े-खड़े या चलते-चलते भी दिल का दौरा पड़ रहा है. इन सभी युवाओं की उम्र 15 से 35 साल है.
15 दिनों में क्रिकेट खेलने के दौरान मौतों के मामले
-उत्तर प्रदेश के मेरठ में 25 दिसंबर को 35 साल के दुष्यंत वर्मा की मौत
-उत्तर प्रदेश के नोएडा में 09 जनवरी को क्रिकेट खेलने के दौरान एक इंजीनियर की मौत. रन लेते समय वह बीच पिच पर गिर पड़े और हार्ट अटैक से मौत.
-उत्तर प्रदेश के अमरोहा में 31 दिसंबर को 10वीं कक्षा के छात्र की क्रिकेट खेलने के दौरान मौत
-मध्य प्रदेश के नीमच में 30 दिसंबर को 29 साल के नारायण सिंह की क्रिकेट खेलने के दौरान मौत
-मध्य प्रदेश के खरगोन जिले के बड़वाह में 31 दिसंबर को 22 साल के इंदल सिंह की मौत
-मध्य प्रदेश के 28 दिसंबर को रीवा में क्रिकेट खेलते वक्त 24 साल के युवक की मौत
A Noida techie collapsed on the cricket pitch due to a heart attack and unfortunately passed away on the field.
Om Shanti pic.twitter.com/NdAZhDCOtu
— Vipin Tiwari (@Vipintiwari952_) January 10, 2024
इन मामलों के पीछे क्या है वजह?
ऑल इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज नई दिल्ली के डिपार्टमेंट ऑफ कार्डियोलॉजी में प्रोफेसर और कार्डियोवैस्कुलर डिजीज एक्सपर्ट डॉ. नीतीश नायक का कहना है कि युवाओं में हो रहे सडन कार्डिएक अरेस्ट के पीछे कई फैक्टर्स हैं. इनमें मुख्य रूप से स्मोकिंग, अनहेल्दी लाइफस्टाइल, यंगस्टर्स में अनडिटेक्टेड ब्लड शुगर या बीपी, जंक फूड्स, कोल्ड वेदर और पॉल्यूशन शामिल है. स्मोकिंग को ऐसे भी समझ सकते हैं कि वातावरण में जो प्रदूषण है, उसे इनहेल करते हैं तो यह भी अच्छे खासे धूम्रपान के बराबर है.
सर्दी में क्रिकेट खेलने से क्यों हो रहा हार्ट अटैक?
एम्स दिल्ली में कार्डियोवैस्कुलर डिजीज एक्सपर्ट प्रोफेसर नीतीश नायक..
डॉ. नायक बताते हैं कि ज्यादा ठंडे मौसम में खासतौर जब प्रदूषण ज्यादा हो और इंटेंस फिजिकल एक्टिविटी की जाती है और स्ट्रेस के साथ की जाती है तो वह हार्ट अटैक का बड़ा कारण बनता है. जब बाहर एक्यूआई ज्यादा है और सर्दी भी है, ऐसे में आप भाग रहे हो, दौड़ रहे हो, हैवी एक्टिविटी कर रहे हो तो ऐसे में नसों सडन कार्डिएक अरेस्ट या आर्टरीज में पॉल्यूटेंट का खतरा बढ़ जाता है. सिर्फ क्रिकेट ही नहीं कई फुटबॉल खेलने वाले खिलाड़ियों के भी वीडियोज सामने आए हैं, जब वे मैदान पर अचानक कॉलेप्स कर जाते हैं.
प्रदूषण और ठंड का कॉम्बो है खतरनाक
जब प्रदूषण बहुत ज्यादा हो और सर्दी पड़ रही हो तो कोई भी इंटेंस गतिविधि करने से बचना चाहिए. पहले ऐसा नहीं होता था, उसकी वजह थी कि लोग सर्दी और प्रदूषण में लगातार पैदल चलते थे, दिनभर काम करते थे लेकिन अब ऐसा लाइफस्टाइल नहीं है. युवा ज्यादातर घरों में टीवी या फोन पर रहते हैं, जॉब या अन्य काम में बिजी रहते हैं, बहुत कम फिजिकल एक्टिविटीज करते हैं और फिर अचानक किसी दिन खेलने के लिए इस मौसम में निकल पड़ते हैं और वे कोल्ड व पॉल्यूशन के डेडली कॉम्बो में फंस जाते हैं.
खाना खाने के बाद न खेलें
डॉ. नायक कहते हैं कि इस मौसम में खाना खाने के बाद अगर आप बाहर चले जाते हैं और एक्सरसाइज या कोई शारीरिक गतिविधि करते हैं तो उस दौरान शरीर का ब्लड सर्कुलेशन पेट की तरफ चला जाता है, ऐसे में ब्लड फ्लो कम हो जाता है और हार्ट पर दवाब पड़ता है. ठंड में ब्लड वेसेल्स भी सिकुड़ जाती हैं तो उस वजह से भी हार्ट को ज्यादा मेहनत करनी पड़ती है, यह भी हार्ट अटैक्स का बड़ा कारण है.
इनडोर एक्टिविटीज करें
जब एक्यूआई 200-300 जा रहा है और ठंड भी भीषण पड़ रही है तो इस मौसम में आउटडोर एक्टिविटीज को अवॉइड करें. हेल्थ के लिए इस बात को समझें कि इनडोर में तापमान भी बाहर से कुछ पॉइंट बढ़ा हुआ होता है, प्रदूषण भी इतना गंभीर नहीं होता लिहाजा इनडोर गेम्स, एक्सरसाइज या योगा आदि करें. जब धूप निकल रही हो या ठंड कम हो और प्रदूषण स्तर भी कम हो तभी बाहर खेलें. ये प्रिवेंटेबल डेथ हैं, जिन्हें समझदारी से रोका जा सकता है.
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Tags: Aiims delhi, Cricket, Heart attack
FIRST PUBLISHED : January 11, 2024, 12:43 IST