30 साल बाद पढ़ाई, 49 की उम्र में परीक्षा, डॉक्टर पिता ने बेटी के लिए फिर से क्लियर की NEET परीक्षा

प्रयागराज. संगम नगरी प्रयागराज के जाने-माने न्यूरो सर्जन डॉ प्रकाश खेतान ने बेटी को प्रेरित करने के लिए 2023 की नीट प्रवेश परीक्षा पास करने का कारनामा किया है. उनकी इस उपलब्धि की इन दिनों हर ओर चर्चा हो रही है. 49 साल की उम्र में यह कारनामा करने वाले डॉक्टर प्रकाश खेतान को खुद के पास होने से ज्यादा इस बात की खुशी है कि उनकी 18 वर्षीय बेटी मिताली का सलेक्शन एमबीबीएस में हो गया है. वो कर्नाटक के मणिपाल में कस्तूरबा गांधी मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस की पढ़ाई कर रही है.

खास बात यह रही कि नीट की परीक्षा में बेटी ने अपने डॉक्टर पिता से ज्यादा परसेंटाइल हासिल किया. बेटी को जहां 82 परसेंटाइल मिला वहीं पिता को 80 परसेंटाइल मिला. इस बारे में डॉ प्रकाश खेतान का कहना है कि वर्ष 1992 में सीपीएमटी की परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद उन्होंने मोतीलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज से एमबीबीएस किया और इसके बाद केजीएमसी लखनऊ से एम एस की पढ़ाई की. इसके बाद केजीएमसी से ही एमसीएच कर न्यूरो सर्जन बने. डॉक्टर खेतन की पत्नी डॉक्टर सुषमा खेतान भी गाइनकोलॉजिस्ट है, इसलिए डॉक्टर खेतान अपनी बेटी को भी अपनी तरह डॉक्टर बनना चाहते थे.

इसके लिए उन्होंने बेटी को कोटा कोचिंग के लिए भी भेजा था लेकिन कोवड की महामारी के दौरान वह घर आ गई. उनके मुताबिक बेटी कोटा से वापस लौटने के बाद थोड़ी निराश थी. उसे यह लगता था कि वह डॉक्टर नहीं बन पाएगी, बस फिर क्या था बेटी का हौसला बढ़ाने के लिए डॉक्टर खेतान ने खुद भी उसके साथ तैयारी शुरू कर दी.  30 साल पहले जिन सब्जेक्ट की पढ़ाई वह छोड़ चुके थे, उसको दोबारा रिवाइज किया. हर दिन 5 से 6 घंटे वह बेटी के साथ पढ़ते थे. उसका रिवीजन भी करते थे. इसके साथ ही साथ उसका हौसला भी बढ़ाते थे.

डॉ प्रकाश खेतान के मुताबिक उन्होंने जब नीट का फॉर्म भरा तो उन्हें यह पता भी नहीं था कि इसमें उम्र की कोई बाध्यता है कि नहीं लेकिन उनका फॉर्म रिजेक्ट नहीं हुआ और परीक्षा में शामिल होने के लिए एडमिट कार्ड भी आ गया, जिसके बाद डॉक्टर प्रकाश खेतान ने भी परीक्षा दी. डॉक्टर खेतान ने शिवकुटी के एक परीक्षा केंद्र पर परीक्षा दी थी जबकि बेटी ने झूंसी के एक परीक्षा केंद्र पर परीक्षा दी लेकिन जब रिजल्ट आया तो बेटी के साथ ही उनका भी सलेक्शन हो चुका था. हालांकि उन्हें एमबीबीएस की पढ़ाई नहीं करनी थी लेकिन बेटी की उपलब्धि पर डॉक्टर प्रकाश खेतान बेहद उत्साहित हैं.

डॉ प्रकाश खेतान प्रयागराज के ही नहीं बल्कि देश के जाने-माने न्यूरो सर्जन हैं. उन्होंने न्यूरो सर्जरी के भी क्षेत्र में ऐसा कारनामा किया है कि उनके नाम कई वर्ल्ड रिकॉर्ड दर्ज हैं. डॉ प्रकाश खेतान ने प्रयागराज में ही एक 8 साल की बच्ची के मस्तिष्क का आठ घंटे तक सफलता पूर्वक ऑपरेशन किया, जिसके  मस्तिष्क में 296 सिस्ट थे. यह गिनीज बुक ऑफ़ वर्ल्ड रिकॉर्ड में दर्ज हुआ है. इसके पहले यह रिकॉर्ड कनाडा के एक न्यूरो सर्जन के नाम दर्ज था, जिसने सिर्फ 18 सिस्ट मरीज के मस्तिष्क से निकाले थे. कई अन्य सर्जरी में लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड और एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड भी उनके नाम दर्ज है.

डॉ प्रकाश खेतान कहते हैं कि अगर अपने बच्चों को सफल बनाना है तो उन पर माता-पिता को ध्यान देना चाहिए. उन्होंने कहा कि माता-पिता को बच्चों को बात-बात में टोकते नहीं रहना चाहिए बल्कि उन्हें मोटिवेट करना चाहिए और बच्चों के साथ उनके पैरेंट्स की बॉन्डिंग बहुत मजबूत होनी चाहिए. अगर उन्हें आप पढ़ा नहीं सकते हैं तो उनका ख्याल रख सकते हैं.

Tags: NEET, Neet exam, NEET UG 2023

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