राजकुमार सिंह/वैशाली. यूपीएससी और बीपीएससी जैसी उच्च स्तरीय परीक्षा पास करने के लिए छात्र बडे़ शहरों में तैयारी करने जाते हैं. बावजूद लाखों छात्रों में से गिने-चुने को ही सफल मिल पाती है. कई छात्रों के माता-पिता जमीन बेचकर बच्चों को उनके सपनों को पूरा करने के लिए बड़े शहरों में भेजते हैं और नामी-गिरामी कोचिंग से पढ़ाई करवाते हैं. लेकिन इन सबसे अलग वैशाली जिले के एक छात्र ने न सिर्फ सरकारी स्कूल से प्रारंभिक शिक्षा प्राप्त की, बल्कि सरकारी कॉलेज से ग्रेजुएशन पूरा किया. कोचिंग और बड़े इंस्टिट्यूट जाने के बदले खुद पर भरोसा किया और सेल्फ स्टडी को अपना हथियार बनाया. आज उनकी मेहनत रंग लाई. महनार प्रखंड के लावापुर नारायणपुर के अभिषेक ने बीपीएससी में 171वीं रैंक लाकर सबको चौंका दिया.
वैशाली जिले के महनार प्रखंड के लावापुर नारायणपुर के रहने वाले अभिषेक कुमार समाज कल्याण विभाग के सामाजिक सुरक्षा कोषांग में सहायक निदेशक का पद पर अपनी सेवा देंगे. अभिषेक के पिता पवन झा आर्मी से रिटायर्ड हवलदार हैं. अभिषेक ने बीएससी की परीक्षा में 171वीं रैंक हासिल कर पूरे जिले में परचम लहराया है. अभिषेक अपनी सफलता का श्रेय अपने घर के सदस्यों और गुरुजनों को देते हैं. अभिषेक ने बताया कि उन्होंने सेल्फ स्टडी की. वे बताते हैं कि उन्होंने 65वीं बीपीएससी में पीटी पास किया, फिर 66वीं में मेंस क्लियर हुआ. लेकिन कुछ अंकों से फाइनल रिजल्ट नहीं आया. इस बार 67वीं बीपीएससी में मेरा फाइनल सेलेक्शन हुआ.
दिन में 9 घंटे करते थे पढ़ाई
अभिषेक की स्कूलिंग हसनपुर से हुई. आरपीएस कॉलेज महनार से 12वीं की, जबकि ग्रेजुएशन समस्तीपुर से किया. उन्होंने ने बताया कि सरकारी सेवा में ही जाना मेरा लक्ष्य था. यही कारण है कि मैंने शुरू से ही बीपीएससी और यूपीएससी की तैयारी की. अब पहली बार सफलता मिली है, लेकिन प्रयास यूपीएससी के लिए करना है. आपको बता दें कि अभिषेक ने यह सफलता सेल्फ स्टडी से पाई है. इसके लिए उन्होंने कोई कोचिंग नहीं ली. सेल्फ स्टडी के तहत वे 9 घंटे पढ़ाई करते थे. उन्होंने बताया कि इस बार का इंटरव्यू बेहतर हुआ था, तो उम्मीद थी कि फाइनल रिजल्ट आएगा.
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FIRST PUBLISHED : October 29, 2023, 10:52 IST