सच्चिदानंद, पटना. एक तरफ बिहार में बीपीएससी के द्वारा लाखों शिक्षकों की भर्ती की जा रही है. वहीं दूसरी तरफ नियोजित शिक्षकों को राज्यकर्मी का दर्जा देने के लिए सक्षमता परीक्षा का आयोजन बिहार बोर्ड की तरफ से किया जा रहा है. अब अनुभवी शिक्षकों को प्रधानाध्यापक बनाने की जिम्मेदारी बीपीएससी को मिला है. दरअसल, पिछले दिनों प्रधान शिक्षक नियुक्ति और सेवा शर्त नियमावली 2024 को लागू किया गया है. इसी नियमावली में प्रधानाध्यापक नियुक्ति से संबंधित दिशा निर्देश भी जारी कर दिया गया है.
जानिए क्या है सेवा शर्त नियमावली
प्रधान शिक्षक नियुक्ति और सेवा शर्त नियमावली 2024 के अनुसार सरकारी प्रारंभिक विद्यालयों में 40 हजार प्रधान शिक्षकों की नियुक्ति की परीक्षा बीपीएससी लेगा. सभी अभ्यर्थियों को 3 मौके मिलेंगे. बीपीएससी, शिक्षा विभाग के परामर्श से परीक्षा का पाठ्यक्रम और पैटर्न बनाएगा. बिहार राजकीयकृत प्रारंभिक विद्यालय शिक्षक नियमावली 2018 के दायरे में आने वाले शिक्षकों को इस परीक्षा में शामिल होने की बाध्यता नहीं है. वे पात्रता और रिक्ति के अनुसार प्रोन्नति के जरिए प्रधान शिक्षक बन सकेंगे.
इसके साथ ही इस नियमवाली में बताया गया है कि प्रधान शिक्षक स्थानांतरित होंगे. उनके आग्रह पर प्राथमिक शिक्षा निदेशक उनका स्थानांतरण करेंगे. इसके साथ ही प्राथमिक शिक्षा के निदेशक द्वारा किसी प्रधान शिक्षक का जिले के बाहर भी स्थानान्तरण किया जा सकेगा.
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इनको मिलेगा इस परीक्षा में शामिल होने का मौका
बीपीएससी द्वारा आयोजित होने वाली इस परीक्षा में वैसे शिक्षक हिस्सा लेंगे, जिनके पास सरकारी प्राथमिक विद्यालयों में न्यूनतम 8 वर्ष पढ़ाने का अनुभव हो. जो नियुक्ति वर्ष के 1 अगस्त को 58 वर्ष या उससे कम आयु के हों और परीक्षा में ऐसे सभी प्रशिक्षित शिक्षक भाग ले सकेंगे, जो स्थानीय निकायों द्वारा नियोजित हैं. प्रधान शिक्षक का वेतन एवं अन्य भत्ते वित्त विभाग के परामर्श से निर्धारित किया जाएगा.
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FIRST PUBLISHED : February 23, 2024, 11:47 IST