‘वन अगेंस्ट वन’ पर मंथन, नई दिल्ली में इंडिया अलायंस की कमिटियों की बड़ी बैठक, बिहार से तेजस्वी यादव और संजय झा होंगे शामिल

नई दिल्ली. आज दिल्ली में शरद पवार के आवास पर INDIA गठबंधन की कोआर्डिनेशन कमेटी और इलेक्शन स्ट्रेटजी कमेटी (INDIA Alliance Election Strategy Committee) की बैठक होगी. मुम्बई में कमेटी बनाए जाने के बाद ये पहली बैठक है. शाम 4 बजे ये बैठक बुलाई गई है. मुंबई में पिछले 31 अगस्त और 1 सितंबर को 2 दिन तक चली बैठक के बाद इस कमेटी का ऐलान किया गया था. इसके अलावा भी कई कमेटी बनाई गई हैं. बिहार राजद से डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव और जदयू से मंत्री संजय झा इस मीटिंग में शामिल हो रहे हैं.

कोऑर्डिनेशन कमेटी और इलेक्शन स्ट्रेटजी कमेटी के अलावा कैंपेन कमेटी, मीडिया के लिए कमेटी, सोशल मीडिया के लिए कमेटी और रिसर्च के लिए अलग कमेटी बनाई गई है. लेकिन, कोऑर्डिनेशन कमेटी और इलेक्शन स्ट्रेटजी कमेटी सबसे महत्त्वपूर्ण और सबसे ताकतवर कमेटी है. इंडिया गठबंधन की कोशिश है कि बीजेपी को 1 अगेंस्ट 1 के फॉर्मूले पर चुनौती दी जाए.

सीट बंटवारे पर मंथन
वन अगेंस्ट वन फॉर्मूला यानी एक लोकसभा सीट पर बीजेपी के एक उम्मीदवार के मुकाबले विपक्ष की तरफ से साझा एक उम्मीदवार देने की बात कही जा रही है. आज की बैठक इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि इसमें सभी विपक्षी दलों के बीच सीटों के बंटवारे को लेकर भी चर्चा होने की संभावना जताई जा रही है. दरअसल, सभी दल चाहते हैं कि जल्द से जल्द सीटों पर अंतिम मुहर लगाई जाए. क्योंकि सीट बंटवारा ही सबसे कठिन काम होता है. इसको लेकर कई क्षेत्रीय दल के नेताओं ने अपनी राय भी रखी है. इसलिए आज की बैठक काफी महत्वपूर्ण मानी जा रही है.

साझा रैली की तैयारी
इसके अलावा अलग-अलग राज्यों में कैसे चुनाव को लेकर रणनीति को अंतिम रूप दिया जाए और कैसे अलग-अलग राज्यों में साझा रैली की जाए, इसको लेकर भी इसमें रणनीति बनाई जाएगी. हालांकि, अलग से कैंपेन कमेटी भी बनाई गई है जो चुनावी अभियान और साझा रैली की रूपरेखा तैयार करेगी, लेकिन आज की कोऑर्डिनेशन कमेटी में इन मुद्दों पर चर्चा की संभावना है.

ये नेता हो रहे शामिल
इस बैठक में आरजेडी की तरफ से बिहार के डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव, जेएमएम की तरफ से झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन शामिल होंगे, जबकि जेडीयू की तरफ से राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह को शामिल होना था, लेकिन उनकी तबीयत खराब होने के चलते वह इस बैठक में शामिल नहीं होंगे. उनकी जगह पर बिहार सरकार में मंत्री और पार्टी के महासचिव संजय झा शिरकत करेंगे.

दिल्ली में दिग्गजों का जुटान
इसके अलावा कांग्रेस की तरफ से के सी वेणुगोपाल, एनसीपी की तरफ से शरद पवार, डीएमके की तरफ से टीआर बालू, शिवसेना यूबीटी की तरफ से संजय राउत ,टीएमसी की तरफ से अभिषेक बनर्जी, आम आदमी पार्टी की तरफ से राघव चड्ढा, समाजवादी पार्टी की तरफ से जावेद अली खान, CPI से डी राजा,नेशनल कांफ्रेंस से उमर अब्दुल्ला, पीडीपी से महबूबा मुफ्ती भी शामिल होंगी.

कर्नाटक-यूपी पर खास रणनीति
सूत्रों के मुताबिक, आज की बैठक में साझा रैली, साझा चुनाव प्रचार, सोशल मीडिया , मीडिया को लेकर रणनीति पर चर्चा होगी. इसके अलावा कैंपेन कमिटी मीडिया कमेटी, सोशल मीडिया कमेटी और रिसर्च कमेटी की शुरुआती रिपोर्ट पर भी कोआर्डिनेशन कमेटी की बैठक में चर्चा होगी. सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, अलग-अलग राज्यों के हिसाब से वहां की राजनीतिक स्थिति का आकलन कर चुनाव प्रचार की रणनीति बनाई जा रही है. बिहार, झारखंड, महाराष्ट्र, कर्नाटक और यूपी को लेकर खास रणनीति बनाई जा रही है. बिहार और झारखंड में इंडिया गठबन्धन की सरकार है, वहां विपक्षी गठबन्धन को ज्यादा उम्मीद है.

घोसी परिणाम ने दिखाई दिशा
कर्नाटक में विधान सभा चुनाव के प्रदर्शन को दोहराने की कोशिश भी है और उम्मीद भी. महाराष्ट्र में गठबंधन को भरोसा है कि शिंदे सरकार के खिलाफ उसको फायदा मिलेगा. कांग्रेस, शरद पवार और उद्धव ठाकरे मिल कर इस बार गठबंधन को बढ़त दिलाएंगे ऐसी उम्मीद है. लेकिन, सबसे बड़ी चुनौती उनके लिए उत्तर प्रदेश होगा. दरअसल, इंडिया गठबन्धन घोसी विधानसभा चुनाव से उत्साहित है. उनको लगता है कि ठीक से रणनीति बनाई जाए तो इस बार बीजेपी को काफी हद तक रोका जा सकता है. कांग्रेस और एसपी के साथ बीएसपी को लाने की कोशिश की जा रही है. ये अलग बात है कि बीएसपी से अभी सकारात्मक संदेश नहीं मिला है

इन राज्यों पर विशेष फोकस
इसके अलावा राजस्थान, मध्य प्रदेश छत्तीसगढ़ गुजरात हिमाचल और उत्तराखंड जैसे राज्यों में जहां कांग्रेस और बीजेपी में आमने-सामने है, उसको लेकर क्या रणनीति होगी इस पर मंथन हो सकता है. क्योंकि इन जगहों पर ही बीजेपी ने पिछ्ले दो लोकसभा चुनावों मे क्लीन स्वीप किया था. वहां राष्ट्रीय मुद्दों के साथ में स्थानीय मुद्दे उठाकर बीजेपी को रोकने की कोशिश होगी. ओड़िशा, आंध्र प्रदेश और तेलंगाना में सत्ताधारी दल न कांग्रेस और न ही बीजेपी के साथ हैं, इसलिए उसको लेकर अलग रणनीति होगी. लेकिन, कोऑर्डिनेशन कमिटी की बैठक में पंजाब दिल्ली पश्चिम बंगाल केरल और गोवा जैसे राज्यों के लिए एक अलग रणनीति बनेगी जहां पर विपक्षी गठबंधन में सीट शेयरिंग में ज्यादा परेशानी हो सकती है. यहां इंडिया गठबन्धन के दल अब तक एक दूसरे के खिलाफ रहे हैं.

Tags: 2024 लोकसभा चुनाव, Loksabha Election 2024, Loksabha Elections, लोकसभा चुनाव राजनीति

Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *