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– फोटो : अमर उजाला
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नगर के डायट परिसर में आयोजित सामूहिक विवाह में वेदपाठी ब्राह्मणों की कमी रही। जिससे जोड़ों को शादी की रस्में पूरी करने में दिक्कत हुई। कुल 57 जोड़ों की शादी के लिए सिर्फ पांच पंडित थे। दोपहर में करीब डेढ़ बजे मंच से पं. नीरजानंद शास्त्री सिंदूरदान का मंत्र बोल रहे थे, उस समय कई जोड़ों को मंडप में अग्नि के समक्ष फेरे लगाते देखा गया। वर-वधू दोनों एक दूसरे के किस साइड में बैठें यह भी बताने वाला कोई नहीं था। कुछ जगह महिला पुलिस कर्मी जोड़ों को इधर से उधर बैठाते हुए देखी गईं।
शासन के निर्देश पर इस वर्ष सामूहिक विवाह के आयोजन में संशोधन किया गया है। ऑनलाइन पंजीकरण करते हुए ब्लॉक स्तर पर सामूहिक विवाह कराया जा रहा है। इसी क्रम में सोमवार को राबर्ट्सगंज ब्लॉक का सामूहिक विवाह डायट परिसर में कराया गया। पंजीकरण कराए 64 जोड़ों के सापेक्ष 58 जोड़े शामिल हुए। इसमें 57 जोड़ों का हिंदू विधि से विवाह हुआ। वहीं एक मुस्लिम जोड़े का निकाह कराया गया। कार्यक्रम में वेदपाठी ब्राह्मणों की कमी रही। मंच से नीरजानंद शास्त्री विवाह के मंत्र पढ़े।
विवाह मंडप में चार ब्राह्मण लोगों को शादी के विधि- विधान कराते रहे। मगर, हर जगह उनकी उपस्थिति नहीं होने से लोगों को परेशानी हुई। मंच से जब सिंदूर दान का मंत्र पढ़ा गया तो उस समय पीछे बैठे सात-आठ की संख्या में जोड़े अग्नि के फेरे लगाते दिखे। जानकारी न होने से कोई जोड़ा दाहिने हाथ से अग्नि कुंड में आहुति डाल रहा तो कई बाएं हाथों से ही आहुति देते रहे।
सांसद पकौड़ी लाल कोल, सदर विधायक भूपेश चौबे, घोरावल विधायक प्रतिनिधि सुरेंद्र मौर्य व सदर ब्लॉक प्रमुख अजीत रावत मंच के समीप एक जोड़ों का विधि विधान से विवाह संपन्न कराया। इस मौके पर जिला समाज कल्याण अधिकारी रमाशंकर यादव, डीडीओ शेषनाथ आदि उपस्थित रहे।