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दिल्ली में ‘मीर की दिल्ली, शाहजहानाबाद: द इवॉल्विंग सिटी’ नाम से आयोजित उत्सव में शनिवार को नसीरुद्दीन शाह ने कहा कि हिंदी फिल्म निर्माता पिछले 100 वर्षों से एक ही तरह की फिल्में बना रहे हैं। अभिनेता शाह ने कहा, ‘‘मैंने हिंदी फिल्में देखना बंद कर दिया है, मुझे वे बिल्कुल पसंद नहीं हैं।’’
नयी दिल्ली। अभिनेता नसीरुद्दीन शाह ने हिंदी सिनेमा के प्रति अपनी निराशा व्यक्त की और कहा कि इसके बेहतर होने की उम्मीद तभी है जब केवल पैसा कमाने के इरादे से फिल्में नहीं बनाई जाए। दिल्ली में ‘मीर की दिल्ली, शाहजहानाबाद: द इवॉल्विंग सिटी’ नाम से आयोजित उत्सव में शनिवार को नसीरुद्दीन शाह ने कहा कि हिंदी फिल्म निर्माता पिछले 100 वर्षों से एक ही तरह की फिल्में बना रहे हैं।
उन्होंने कहा कि “यह वास्तव में मुझे निराश करता है कि हम यह कहने में गर्व महसूस करते हैं कि हिंदी सिनेमा 100 साल पुराना है लेकिन हम वही फिल्में बना रहे हैं। ’’ अभिनेता शाह (73)ने कहा, ‘‘मैंने हिंदी फिल्में देखना बंद कर दिया है, मुझे वे बिल्कुल पसंद नहीं हैं।’’ शाह ने कहा कि दुनियाभर में भारतीय घर से जुड़ाव की वजह से हिंदी फिल्में देखने जाते हैं लेकिन जल्द ही हर कोई ऊब जाएगा।
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