मां को कांवड़ में बैठाकर 160 किलोमीटर दूर देवघर और बासुकीनाथ धाम ले जाएंगे यह दोनों भाई

सत्यम कुमार/भागलपुर. आजकल वृद्धाश्रम और सड़क वृद्ध माताओं से भरी पड़ी है. लेकिन इस कलयुग में भी दो ऐसे पुत्र हैं जो अपने पिता की इच्छा पूर्ति के लिए 13 साल बाद मां को कांवर में बिठाकर 160 km की यात्रा पर निकल पड़े हैं. पवन और सुनील शाह दोनों खगड़िया जिले के चौथम के रहने वाले हैं. दोनों सगे भाई हैं. अपनी दिव्यांग माता को बहंगी बनाकर उस पर बिठाकर पैदल 160 किलोमीटर की यात्रा पर निकल गए हैं. दोनों भाई ने बताया कि पहले सुल्तानगंज से देवघर जाएंगे उसके बाद वहां से बासुकीनाथ धाम जाएंगे.

13 साल पहले पिता ने जताई थी इच्छा

पवन और सुनील बताते हैं कि उनके पिता की मौत 2010 में हो गई और उनकी इच्छा थी कि मां और पिता को कांवड़ में बिठाकर तीर्थ यात्रा पर ले चलें. लेकिन पिता की मौत के बाद अकेली मां को लेकर जाना पड़ रहा है. दोनों भाइयों ने नई पीढ़ी के युवाओं से अपने माता-पिता की सेवा की बात कही.

‘आजकल कौन माता-पिता को देखता है’

मां शोभा देवी भी अपने पुत्रों के कार्य से काफी प्रसन्न दिखाई दी. अपने पुत्रों की तरह ही सभी माता-पिता के पुत्र होने की कामना ईश्वर से करते दिखी. उन्होंने बताया कि आजकल कौन माता पिता को देखता है. कोई मारता है तो कोई उसे वृद्धाआश्रम पहुंचा देता है. मैं बहुत शोभाग्यशाली हूँ कि मैंने ऐसे बेटे को जन्म दी. भगवान करे कि सभी पुत्र अपने माता पिता की कद्र करें और उनके हरेक इक्षा को पूर्ण करें.

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FIRST PUBLISHED : September 02, 2023, 22:13 IST

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