मां के इलाज में हुई थी परेशानी तो ‘ब्लड मैन’ बना बोकारो का हरबंस, अब बचा रहा दूसरों की जान

 कैलाश कुमार/बोकारो. रक्तदान महादान है. जो स्वस्थ समाज के निर्माण में महत्वपूर्ण योगदान निभाता है. इससे समाज के रक्त संबंधित मरीजों कि जीवन रक्षा करने में मदद मिलती है. बोकारो के ब्लड मैन के नाम से प्रसिद्ध हरबंस सिंह सलूजा 16 वर्षों से नियमित रूप से रक्तदान कर रहे हैं. इन्होंने अब तक 47 बार रक्तदान कर दिया है.

हरबंस सिंह के इस नेक काम के लिए उन्हें अंतर्राष्ट्रीय संस्थान निफा द्वारा इंटरनेशनल लाइफ सेवर अवार्ड से सम्मानित किया गया है. निफा द्वारा आयोजित रक्तदान शिविर में देशभर में 1 लाख 30 हजार यूनिट ब्लड डोनेट कराया गया है. जिसमें बोकारो से हरबंस सिंह की पहल पर 123 यूनिट का योगदान था. इसके लिए उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकार्ड्स लंदन द्वारा पार्टिसिपेशन सर्टिफिकेट और स्मृति चिन्ह से नवाजा गया था.

ह्यूमैनिटी सेवियरस हर 3 महीने में लगाती है रक्तदान शिविर
हरबंस ने कहा कि उन्हें रक्तदान को लेकर प्रेरणा वर्ष 1998 में आई. जब उनकी मां की तबीयत काफी खराब थी और उन्हें रक्त की सख्त जरूरत थी. अस्पताल में रक्त की कमी के कारण उन्हें कई परेशानियों का सामना करना पड़ा था.जिसे ध्यान रखते हुए उन्होंने संकल्प लिया कि अब आगे किसी को भी रक्त की कमी कि समस्या ना हो. इसके लिए वह काम करेंगे और नियमित रूप से रक्तदान करने लगे. उनकी सामाजिक संस्था ह्यूमैनिटी सेवियरस हर 3 महीने में रक्तदान शिविर लगाती है. जहां ब्लड डोनेशन के साथ लोगों को जागरूक भी किया जाता है.वहीं नियमित रकतदान को लेकर हरबंस के पारिवार थोड़े चिंतित होते हैं पर उनके कार्य का पूरी तरह समर्थन करते हैं. अंत में हरबंस ने बताया कि सभी को वर्ष में एक बार जरूर रक्तदान करना चाहिए. इससे स्वास्थ्य को किसी भी तरह का नुकसान नहीं पहुंचता है. बल्कि इसका हमारे सेहत पर भी अच्छा प्रभाव पड़ता है और समाज का भला होता है.

.

FIRST PUBLISHED : October 9, 2023, 19:31 IST

Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *