सत्यम कुमार/भागलपुर. आपने ताजमहल के किस्से खूब सुने होंगे. आपको पता भी है कि ताजमहल शाहजहां ने मुमताज के याद में बनवाया था. जो आगरा में है. लेकिन आपको बता दें कि भागलपुर में भी ऐसी ही कुछ कहानी सामने आई है. एक व्यक्ति ने अपने पत्नी की याद में मकबरा बनवाया जिसका रंगरूप ठीक ताजमहल के जैसा ही दिया. आज से कई साल पूर्व इसको बनवाया गया था. यह भागलपुर के रहने वाले डॉ.नजर आलम और हुस्न बानो के प्यार की निशानी है. इसको बनवाने की कहानी भी काफी दिलचस्प है.
यह मकबरा आज भी पति और पत्नी के प्यार की गवाही दे रहा है. भागलपुर के रहने वाले डॉ. नजर आलम और हुस्न बानो की बेटी डॉ.साबरा खातून ने बताया कि मेरे पिताजी हेमियोपेथी के जानेमाने डॉक्टर थे. इनकी शादी 62 साल पहले हुस्न बानो से हुई थी. साबरा ने बताया कि कुछ साल पहले अम्मी और अब्बू दोनों हज पर गए थे. वहीं, पर दोनों में बात हुई थी कि जिसका भी पहले इंतकाल होगा, उसको यहीं पर दफन किया जाएगा. पहले अम्मी का इंतकाल हुआ तो उनको घर के आगे ही दफन किया गया. उन्होंने अपने बच्चों से कहा कि इसके बगल में ही मेरे लिए जगह छोड़ देना. उसके बाद पिता जी का देहांत 2015 में हुआ. फिर उनको भी यही पर दफन किया गया.
बनने में एक साल का लगा समय
साबरा ने बताया कि हमलोग 10 भाई बहन है. सभी को पढ़ाया-लिखाया. हम लोगों को डॉक्टर बना दिया. जिंदगी की और कमाई इसी में लगा दी. आज दूर-दूर से लोग यहां पहुंचते हैं. उन्होंने यहां पर मदरसा भी बनवा दिया, ताकि और बच्चे पढ़ाई कर पाए. उनकी सोच थी कि गरीब बच्चों को भी आगे बढ़ाएंगे. उन्होंने बताया कि इसमें करीब 30 लाख रुपये खर्च हुए हैं. यह साल 2016 में बनना तैयार हुआ और 2017 में बनकर तैयार हो गया. अभी हम सभी लोग मिलकर इसकी सेवा करते हैं. आसपास के लोग भी इसकी देखरेख अच्छे से करते हैं.
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FIRST PUBLISHED : October 26, 2023, 12:27 IST