लहसुन को डिशेज में उपयोग करने से खाने का स्वाद काफी बढ़ जाता है। मगर इन दिनों लहसुन की कीमतें आसमान छू रही है। देश भर में लहसुन महंगे दाम में बिक रहा है, जिससे ये आम जनता की थाली और किचन से गायब हो चुका है। यहां तक कि रेस्टोरेंट में भी लहसुन का उपयोग काफी कम किया जा रहा है।
जानकारी के मुताबिक लहसुन की कीमतें 600 रुपये प्रति किलो के स्तर पर पहुंच गई है। वहीं दूसरी ओर व्यापारियों का कहना है कि लहसुन के बढ़े दाम आगामी एक महीने में कम हो जाएंगे। लहसुन की कीमत में आई बढ़ोतरी को देखते हुए काफी कम संख्या में ही लोग इसकी खरीददारी कर रहे है। लहसुन की खरीददारी में लोगों ने कटौती कर दी है। लहसुन की कीमतों में आई गिरावट का मुख्य उद्देश्य कम उपज और कमजोर सप्लाई है। इस कारण ही लहसुन की कीमतें आसमान छू रही है।
मंडियों में बढ़े दाम
बुधवार सात फरवरी को थोक मंडियों में लहसुन की कीमत 7275 रुपये प्रति क्विंटल पर पहुंच गई है। इसकी औसत कीमत 8200 रुपये और न्यूनतम कीमत 6400 रुपये हो गई है। लखनऊ में प्रति क्विंटल लहसुन की कीमत 14 हजार से 17 हजार तक हो गई है। बता दें कि लहसुन के दाम बढ़ने के बाद खुदरा बाजार में भी स्थिति काफी गंभीर हो गई है। खुदरा बाजार में लहसुन की कीमत 250 से ₹300 किलो थी जो अब बढ़कर 500 से ₹600 प्रति किलो हो गई है। लहसुन की कीमत बढ़ाने के बाद अब ग्राहक लहसुन की खरीदारी नहीं कर रहे हैं। एचटी की रिपोर्ट की माने तो बीते सप्ताह लहसुन की कीमत 140 रुपए प्रति किलो थी जो अब काफी गुना बढ़ गई है।
इन राज्यों में है ये कीमत
देश के अलग अलग राज्यों में लहसुन की कीमत आसमान छू रही है। आंकड़ों के अनुसार थोक बाजार में लहसुन छत्तीसगढ़ में 288 रुपए, उत्तर प्रदेश में 300 से 500 रुपए, बिहार में 300 से 400 रुपए, राजस्थान में 300 से 400 रुपए बिक रहा है। यह भी सामने आया है कि मंदसौर की मंडी से लहसुन को कई राज्यों में भेजा जा रहा है। देशभर में मंदसौर का लहसुन मांगा जा रहा है और इसकी सप्लाई तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, चेन्नई, बेंगलुरु के अलावा उत्तर भारत के दिल्ली, पंजाब, राजस्थान, हरियाणा में भी हो रही है।