नेत्रहीनों के लिए कल्याणकारी गतिविधियां न केवल सरकार बल्कि समाज और सामाजिक संगठनों की भी जिम्मेदारी है: मगनभाई पटेल

श्री अंध सर्वोदय मंडल-राजकोट के ७३वें स्थापना दिवस के अवसर पर राष्ट्रीय अंधजन मंडल-जूनागढ़ने हर साल की तरह हाल ही में दृष्टिबाधित लोगों के लिए विभिन्न प्रतियोगिताओं का आयोजन किया। यह कार्यक्रम जूनागढ़ में मुख्यदाता श्री मगनभाई पटेल की अध्यक्षता में आयोजित किया गया। इस अवसर पर श्री मगनभाई पटेलने संस्था को ५१००० एव संस्था के दो सफाईकर्मियों को ११००० रुपये का दान देकर इस संस्था को आर्थिक सहयोग प्रदान किया साथ ही उन्होंने दृष्टिबाधित लोगों के लिए हर साल आयोजित होनेवाले इस प्रकार के कार्यक्रम के लिए प्रतिवर्ष ५१००० रुपये दान देने की भी घोषणा की और अतिरिक्त वित्तीय सहायता अपने मित्र ग्रुप से भी मिल सके ऐसा प्रयत्न करूँगा। इस कार्यक्रम में मुख्य रूप से लोकगीत, देशभक्ति गीत, कविताएं, लेखन और कविता पठन जैसी प्रतियोगिताएं शामिल थीं। इस प्रतियोगिता में गुजरात के दिव्यांग भाई-बहनों की करीब १८ संस्था के १६१ दृष्टिबाधित भाई-बहनों ने भाग लिया था।

इस अवसर पर कार्यक्रम के अध्यक्ष श्री मगनभाई पटेलने अपने प्रेरक उद्बोधन में कहा कि दृष्टिहीन कल्याण गतिविधि की पूरी जिम्मेदारी न केवल सरकार की है बल्कि समाज के साथ-साथ सामाजिक संगठनों की भी है। अगर हम सब इस क्षेत्र के लोगों के प्रति सेवा भाव दिखाएं और उन्हें रोजगारोन्मुखी और आत्मनिर्भर बनाएं तो निश्चित ही यह सही मायने में ईश्वर की भक्ति मानी जाएगी। इस क्षेत्र के लोग चाहे वे दृष्टिबाधित या शारीरिक रूप से विकलांग क्यों न हों वे अपार शक्तियां रखते हैं। ये लोग भी वो काम कर सकते हैं जो एक सामान्य व्यक्ति कर सकता है। हमारे देश में खेल प्रतियोगिता हो या कोई प्रतियोगी परीक्षा सभी दिव्यांग लोगोंने अपना हुनर दिखाकर देश का नाम रोशन किया है और उन्हें सरकार की ओर से सम्मानित और प्रोत्साहित भी किया गया है।दृष्टिबाधित बहन-बेटियां द्वारा बनाई गई विभिन्न वस्तुएं जैसे दीये,राखियां,विभिन्न खिलौने, मिठाइयां इत्यादि को बाजार में बेचकर जो आय प्राप्त होगी,उससे इन बहनों को आर्थिक मदद मिलेगी और निश्चित रूप से वे आत्मनिर्भर और स्वावलंबी बनकर अपने परिवार का जीविकोपार्जन करने में सक्षम होंगी। श्री मगनभाई पटेलने प्रज्ञाचक्षु एक उदाहरण देते हुए कहा कि देश में करोड़ों रुपये का कारोबार करनेवाली वाघबकरी चाय कंपनी के मालिक श्री पीयूषभाई देसाई के निजी सचिव जो प्रज्ञाचक्षु होते हुए अपनी जिम्मेदारी एक आम इंसान की तरह ईमानदारी से बखूबी निभा रहे हैं । यदि हम मंदिर में पत्थर की मूर्ति में भगवान के दर्शन कर रहे हैं तो हमें समाज में ऐसे जीवित दिव्यांग व्यक्तियों में भी भगवान के दर्शन करने चाहिए और उनकी जरूरतों को पूरा करना और उनकी मदद करना हम सभी का सामाजिक दायित्व है।

श्री मगनभाई पटेलने अपने भाषण के समापन में कहा कि अंध सर्वोदय मंडल-राजकोट के अध्यक्ष श्री यूसुफीभाई कपाड़िया, जो दृष्टिहीन होने के बावजूद दाहोद में बी.एड कॉलेज में प्रोफेसर के रूप में सेवाए  प्रदान की है। वर्ष २००२ से इस संस्थान से जुड़े हुए हैं और सरकारी विभाग के कामकाज के साथ-साथ सरकार की विभिन्न योजनाए जैसे की रोजगार संबंधी, स्वास्थ्य संबंधी या शैक्षिक मामलों मे संस्थान के छात्रों को सलाह और मार्गदर्शन देने के लिए श्री मगनभाई पटेलने उनकी सराहना की। राष्ट्रीय अंधजन मंडल-जूनागढ़ के प्रज्ञाचक्षु मंत्री श्री आशीषभाई मांकड़ जो देश के पहले प्रज्ञाचक्षु चार्टर्ड अकाउंटेंट बने और वर्तमान में २० कर्मचारी के साथ अपनी खुद की चार्टर्ड अकाउंटेंट कंसल्टेंसी फर्म चला रहे हैं । श्री मगनभाई पटेलने इस संगठन में अपना कीमती समय और आवश्यक प्रशासनिक मार्गदर्शन देने के लिए उनकी भी सराहना की।

इस कार्यक्रम के दौरान श्री मगनभाई पटेल द्वारा कक्षा १ से ५ तक के दृष्टिबाधित छात्रों को स्कूलबैग एव स्टेशनरी किट भी वितरित किये गये तथा इस अवसर पर उनके द्वारा “मेरी मिट्टी,मेरा देश” कार्यक्रम के तहत वृक्षारोपण भी किया गया जिसमें नोबल स्कूल,जूनागढ़ के प्रशासक श्री के.डी. पंड्या,ब्लाइंड सर्वोदय मंडल-राजकोट के प्रमुख प्रज्ञाचक्षु श्री यूसुफीभाई कपाड़िया, राष्ट्रीय अंधजन मंडल-जूनागढ़ के प्रमुख श्री चिरागभाई पटेल और मंत्री (सीए) प्रज्ञाचक्षु श्री आशीषभाई मांकड़ उपस्थित थे।यहां बताना आवश्यक है कि उमिया माता मंदिर-सिदसर की ट्रस्टी मंडल की बैठक इसी दौरान सोमनाथ में आयोजित की गई थी, श्री मगनभाई पटेल वहां भी   अपना समय देकर इस संस्था के कार्यक्रम के दूसरे दिन की सुबह मे उपस्थित हुए थे। इस कार्यक्रम की योजना में मदद करने के लिए श्री मगनभाई पटेलने उनके  निजी सचिव परागभाई दवे को एक दिन पहले मौजूद रखा था । अंध सर्वोदय मंडल के सभी ट्रस्टियोंने श्री मगनभाई पटेल के ऐसे माइक्रो मैनेजमेंट प्रति विशेष धन्यवाद व्यक्त किया।

संस्था द्वारा आयोजित इस राज्य स्तरीय प्रतियोगिता ४ विभागों में ६ स्तरों पर आयोजित की गई थी। जिसमें कक्षा १ से ८ “ए” एव “बी” मे बालगीत, लोकगीत और व्रक्तुत्व प्रतियोगिता इसके अलावा ९ वीं से १२ वीं कक्षा में देशभक्ति गीत, कविता पाठ और प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता आयोजित की गई थी । इस प्रतियोगिता में प्रथम स्थान प्राप्त करनेवाले विजेता को २००० रूपये, द्वितीय स्थान प्राप्त करनेवाले को १५०० रूपये तथा तृतीय स्थान प्राप्त करनेवाले को १००० रूपये का पुरस्कार प्रदान किया गया। इसके अतिरिक्त स्थान न पानेवाले प्रत्येक प्रतियोगी को भी १००० रूपये का प्रोत्साहन पुरस्कार देकर कुल १९००० रुपये के पुरस्कार दिए गए।

इस राज्य स्तरीय विभिन्न प्रतियोगिताओं में श्री नवचेतन अंधजन मंडल भुज,प्राथमिक,माध्यमिक एवं उच्चतर माध्यमिक, एडल्ट प्रशिक्षण केंद्र,वस्त्रापुर अहमदाबाद,एन.ए.बी.-जूनागढ़, एन.ए.बी.-दाहोद, बी.डब्ल्यू.सी दाहोद,श्रीमती एम.बी.जैन अंध विद्यालय-दाहोद, श्री विद्यामंदिर ट्रस्ट-पालनपुर, नेत्रहीन बहुसांस्कृतिक प्रशिक्षण केंद्र-जामनगर, श्री वी.डी.पारेख अंधमहिला विकास गृह-राजकोट, अंधशाला गांधीनगर, सी.यू.शाह प्रज्ञाचक्षु महिला सेवाकुंज-सुरेंद्रनगर,श्री प्रज्ञाचक्षु महिला प्रगति ट्रस्ट-अमरेली, श्री अंध विद्यार्थी भुवन-विसावदर (जूनागढ़),एन.ए.बी.-पालनपुर और अंध अपंगजन विद्यालय-मोगरी ऐसे कुल १८ संस्थाओ ने भाग लिया था। जिसमें “ए” विभाग से सी.यू.शाह प्रज्ञाचक्षु महिला सेवाकुंज-सुरेंद्रनगर की दृष्टिबाधित छात्रा मकवाना उषाबेन गौतमभाई और “बी” विभाग से एडल्ट प्रशिक्षण केंद्र-वस्त्रापुर के दृष्टिबाधित छात्र रमेशभाई बच्चूभाई प्रथम स्थान पर उत्तीर्ण हुए। जबकि अन्य प्रतियोगिताओं में संगीत प्रतियोगिता में दृष्टिबाधित छात्र भुवन-विसावदार,जूनागढ़ के दृष्टिबाधित छात्र सेवरा जिग्नेश समतभाई और क्विज़  प्रतियोगिता में श्री वी.डी.पारेख अंधमहिला विकास गृह-राजकोट की छात्रा सामग्नी परमार प्रथम स्थान पर उत्तीर्ण हुई थी।

 

इस संस्था के कार्यक्रम के बाद श्री मगनभाई पटेलने जूनागढ़ स्थित सत्यम सेवा युवक मंडल ट्रस्ट द्वारा संचालित अंध कन्या छात्रालय, जूनागढ़ की भी मुलाकात ली जहां संस्था के प्रमुख श्री मनसुखभाई वाजा और ट्रस्टी श्री मुकेशगिरी मेघनाथी द्वारा श्री मगनभाई पटेल का सन्मान किया गया और इस अवसर पर संस्था की प्रज्ञाचक्षु छात्राओ द्वारा श्री मगनभाई पटेल के लिए स्वागत गीत प्रस्तुत किया गया। श्री मगनभाई पटेलने संस्था के प्रमुख श्री मनसुखभाई वाजा को संस्था को अपने कई महत्त्व सुझाव दिए। इस प्रकार श्री मगनभाई पटेल अपनी दो दिवसीय यात्रा मे तीन संस्थाओ में अपनी उपस्थिति प्रदान कर देर रात को अपने अहमदाबाद स्थित निवासस्थान पर परत हुए थे।

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