विशाल कुमार/छपरा: बिहार में सरकारी विद्यालयों का नाम लेते ही एक ऐसी तस्वीर सामने उभर कर सामने आती है, जिसमें बच्चे सुविधाविहीन माहौल में पढ़ाई करते दिखाई देते है. लेकिन, छपरा के रिविलगंज प्रखंड स्थित उत्क्रमित कन्या मध्य विद्यालय औली की कहानी कुछ अलग है. यहां गांव के बच्चे प्राइवेट स्कूल को छोड़कर सरकारी विद्यालय में पढ़ने आते हैं, क्योंकि यहां की व्यवस्था कुछ अलग है.
1954 में बने इस विद्यालय में कई समस्याएं थीx, लेकिन यहां के शिक्षकों ने प्रयास कर सामाजिक स्तर पर इन समस्याओं का समाधान किया और 3 कट्ठा सरकारी जमीन के बदले गांव वालों से 20 कट्ठा जमीन मांगकर विद्यालय का भव्य भवन बनवाया. इस विद्यालय में स्वच्छ पेयजल, शौचालय और अन्य तमाम बुनियादी सुविधाएं मौजूद हैं, जो बच्चों को यहां पढ़ने के लिए आकर्षित करती हैं. वहीं स्मार्ट क्लास के जरिए बच्चे यहां वर्ल्ड क्लास एजुकेशन प्राप्त कर रहे हैं. इस विद्यालय के शिक्षक राष्ट्रपति के हाथों और राज्य स्तर पर सम्मानित हो चुके हैं.
निजी स्कूल से बेहतर सुविधा
उत्क्रमित कन्या मध्य विद्यालय औली की छात्रा करुणा कुमारी ने बताया कि यहां प्राइवेट स्कूल से भी अच्छी व्यवस्था है. सुसज्जित क्लास रूम, शुद्ध पेयजल, स्वच्छ शौचालय सहित अन्य सुविधाएं उपलब्ध हैं. सबसे खास बात यह है कि प्रत्येक सत्र में शिक्षक समय पर क्लास रूम आते हैं और पढ़ाते हैं. करूणा ने बताया कि इससे पहले वह निजी स्कूल में पढ़ाई करती थी. इस सरकारी स्कूल की व्यवस्था देख यहीं नामांकन करा लिया. अब रोजाना स्कूल आते हैं. शिक्षक विनय कुमार दुबे ने बताया कि अगर देश हित में सेवा करने का मौका मिले तो शिक्षक का बराबरी कोई नहीं कर सकता है. उन्होंने बताया कि देश हित में कार्य करते हुए कुशल छात्र तैयार करते हैं और उनके अंदर राष्ट्रीय भावना पैदा करते हैं. ताकि देश के लिए काम आ सके.
राष्ट्रपति अवॉर्ड से सम्मानित शिक्षक
शिक्षक अवधेश कुमार ने बताया कि इस सरकारी स्कूल में प्राइवेट स्कूल से कहीं ज्यादा बेहतर सुविधा है. जिसमें स्वच्छता पर विशेष ध्यान दिया जाता है. इसके साथ हीं सीसीटीवी कैमरा भी यहां लगाया गया है. जिसके माध्यम से क्लास एवं बच्चों पर निगरानी की जाती है. उन्होंने बताया कि सरकार द्वारा जो भी योजना चलाई जाती है, उसे धरातल पर ईमानदारी से उतारा जाता है. यही वजह है कि यह स्कूल जिला में नंबर वन है. यहां के शिक्षकों की ईमानदारी की वजह से शिक्षक विनय कुमार दुबे को राष्ट्रपति अवार्ड से सम्मानित किया गया है. जबकि अवधेश कुमार को राज्य स्तरीय पुरस्कार से सम्मानित किया गया है. इन्हीं शिक्षकों की बदौलत स्कूल में ऐतिहासिक कार्य हुआ है. यहां स्मार्ट क्लास के संचालन के साथ बच्चों के नवाचार तरीके से खेल-खेल में पढ़ाई करवाया जाता है. बच्चों को संगीत, नृत्य सहित अन्य विदा की तालीम दी जाती है.
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FIRST PUBLISHED : September 10, 2023, 15:31 IST