मुरैना/श्योपुर. भीम आर्मी के नेता चंद्रशेखर और उनके अन्य साथी ग्वालियर में जेल भरो आंदोलन में शामिल नहीं हो पाए. ग्वालियर जा रहे चंद्रशेखर, अतुल प्रधान, रविंद्र भाटी को पुलिस ने मुरैना बॉर्डर पर ही रोक लिया. बाद में सिर्फ चंद्रशेखर को ग्वालियर जाने की इजाजत दी गयी. पुलिस ने कहा चुनाव के समय धारा 144 लागू है. ऐसे में किसी को भी कानून अपने हाथ में नहीं लेने दिया जाएगा.
ग्वालियर में गिरफ्तारी देने जा रहे भीम आर्मी के प्रमुख चंद्रशेखर आजाद के साथ उप्र के विधायक अतुल प्रधान, गुर्जर नेता रविंद्र भाटी सहित अन्य कई नेता और समर्थकों को राजस्थान से एमपी की सीमा में प्रवेश करते ही पुलिस ने रोक लिया. इन्हें राजघाट के पास बैठाए रखा. इस दौरान मुरैना कलेक्टर-एसपी के अलावा ग्वालियर के कलेक्टर-एसपी ने भी इनसे चर्चा की. चार घंटे से ज्यादा देर चर्चा के बाद राजघाट पर ही सभी नेताओं ने ग्वालियर कलेक्टर को ज्ञापन दिया. उसके बाद सिर्फ चंद्रशेखर को ग्वालियर जाने दिया गया,बाकी सभी को वापिस राजस्थान लौटा दिया.
देर तक चली चर्चा
ग्वालियर में जेल भरो आंदोलन के आव्हान के कारण मुरैना पुलिस ने मंगलवार शाम से ही सभी रास्तों पर निगरानी बढ़ा दी थी. बुधवार दोपहर 1:15 बजे चंद्रशेखर, अतुल प्रधान, रविंद्र भाटी और उनके समर्थन चंबल नदी पार कर जैसे ही अल्लाबेली चौकी के समीप आए, पुलिस ने बेरीगेट्स लगाकर रोक लिया और गाड़ियों से उताकर बैठा लिया. कुछ ही देर में मुरैना एसपी शैलेंद्र चौहान, कलेक्टर अंकित अस्थाना और फिर ग्वालियर के कलेक्टर-एसपी भी आ गए. चंद्रशेखर ग्वालियर जाने की जिद पर अड़े रहे और कहा कि यहीं से गिरफ्तार कर लीजिए. समझाइश का दौर सवा 5 बजे तक चला. उसके बाद अकेले चंद्रशेखर को ग्वालियर जाने की इजाजत मिली. जिलेभर के थानों में कई जगह भीमआर्मी और बसपा के नेता बैठाए गए. कई गुर्जर नेताओं को घरों में नजरबंद कर दिया गया.

पुलिस का बयान
मुरैना एएसपी ने कहा- मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनाव हैं. ऐसे में लॉ एंड ऑर्डर की स्थिति ना बिगड़े इसलिए ग्वालियर में एक महापंचायत है. इसमें चंद्रशेखर आजाद, रविंद्र भाटी और अतुल प्रधान को बुलाया था. अभी आचार संहिता लगी हुई है दूसरा इनके पास इस कार्यक्रम की परमिशन भी नहीं थी. कानून व्यवस्था की स्थिति बिगड़ने की आशंका थी. इसलिए इन्हें अल्लाह वेली चौकी पर रोक दिया गया.
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बॉर्डर पर रोक गए चंद्रशेखर
इससे पहले ग्वालियर महापंचायत में शामिल होने जा रहे चंद्रशेखर आजाद ने कहा था कि धारा 144 हो या फिर 188 हो. सब जनता के लिए है. अगर जनता के साथ अन्याय होगा और उनके कपड़े फाड़े जाएंगे, लोगों के घर तोड़े जाएंगे, निर्दोष लोगों को जेल में डाला जाएगा, उनके साथ अन्याय होगा तो कोई सी भी धारा तोड़नी पड़े कोई फर्क नहीं पड़ता
श्योपुर में भी गिरफ्तारी
ग्वालियर के मिहिर भोज प्रतिमा विवाद मामले में चल रहे आंदोलन में शामिल होने जा रहे श्योपुर जिले के गुर्जर समाज के 54 लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया था. उनके खिलाफ शांति भंग करने की धाराओं में मामला दर्ज किया गया. सभी को एसडीएम न्यायालय में पेश किया गया. ग्वालियर में हुए मिहिरभोज प्रतिमा विवाद मामले में गुर्जर समाज के 700 लोगों के खिलाफ एफआईआर हुई है. इसके विरोध में गुरुवार को श्योपुर जिले के वनांचल से गुर्जर समाज के 54 लोग गुर्जर आंदोलन में शामिल होने ग्वालियर जा रहे थे. सभी को जिला पुलिस बल के 200 जवानों और अधिकारियों ने सेसईपुरा थाना बोर्डर पर रोक लिया. बाद में उन सब के खिलाफ धारा 151 के तहत मुकदमे दर्ज करके उनकी गिरफ्तारी कर ली गई. एसडीएम न्यायालय में पेश करने के बाद सभी को जमानत पर छोड़ दिया गया.
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FIRST PUBLISHED : October 12, 2023, 20:35 IST