ड्रैगन का दास बन गए मुइज्जू! अब क्या करने मालदीव जा रहा चीन का ‘जासूसी’ जहाज, भारत की बढ़ेगी टेंशन?

नई दिल्ली: भारत और मालदीव के रिश्तों में आई खटास का फायदा चीन उठा रहा है. मालदीव के नए राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू अब खुलकर चीन प्रेम दिखा रहे हैं और भारत की मदद का भी लाज नहीं रख रहे हैं. मालदीव अब भारत की पीठ में छुरा घोंप रहा है और चीन से गलबहियां कर रहा है. इस बीच अब चीन का खतरनाक जासूसी जहाज मालदीव की ओर जा रहा है. एक भारतीय सैन्य अधिकारी और एक स्वतंत्र शोधकर्ता की मानें तो एक चीनी अनुसंधान जहाज मालदीव की ओर जा रहा है और फरवरी के पहले वीक में माले पहुंचने की उम्मीद है. चीन का यह कदम ऐसे वक्त में आया है, जब मालदीव के नए राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू नई दिल्ली से दूरी बनाते हुए बीजिंग के साथ अपने संबंध को मजबूत कर रहे हैं.

टाइम्स ऑफ इंडिया की खबर के मुताबिक, चीन की ओर झुकाव रखने वाले मोहम्मद मुइज्जू के राष्ट्रपति बनने के बाद मालदीव के साथ द्विपक्षीय संबंधों में आई खटास के बीच भारत एडवांस निगरानी उपकरणों से लैस इस चीनी सर्वे और रिसर्च जहाज पर बारीकी से नजर रख रहा है, जो अब माले की ओर जा रहा है. चीनी अनुसंधान पोत यानी चीनी रिसर्च जहाज जियांग यांग होंग 03 ने सोमवार सुबह इंडोनेशिया के सुंडा जलडमरूमध्य के रास्ते से हिंद महासागर क्षेत्र (आईओआर) में प्रवेश किया.

भारत की बढ़ सकती है टेंशन
रॉयटर्स की खबर के मुताबिक, भारतीय रक्षा प्रतिष्ठान से जुड़े एक अधिकारी ने कहा कि जहाज के फरवरी के पहले सप्ताह के आसपास मालदीव पहुंचने की उम्मीद है. माना जा रहा है कि इससे नई दिल्ली में चिंता बढ़ने की संभावना है, जिसने पहले 2022 में श्रीलंका सहित अपने तटों के करीब ऐसे चीनी जहाजों की उपस्थिति को समस्याग्रस्त माना है. यह जासूसी जहाज आधिकारिक तौर पर सैन्य जहाज नहीं है, मगर भारत और अन्य पड़ोसी देश अपनी जासूसी के सैन्य उपयोग के बारे में चिंतित हैं. आशंका जताई जा रही है कि चीनी जहाज द्वारा हिंद महासागर क्षेत्र में एक समुद्री सर्वेक्षण अभियान चलाया जा सकता है, जिससे भारत की चिंता बढ़ सकती है.

खुलकर चीनी प्रेम दिखा रहे मुइज्जू
बता दें कि नवंबर में ‘इंडिया आउट’ अभियान पर सवार होकर मोहम्मद मुइज्जू मालदीव के राष्ट्रपति बने हैं. मुइज्जू के राष्ट्रपति का पदभार संभालने के बाद से भारत और मालदीव के बीच संबंधों में खटास आ गई है. दरअसल, चीन हिंद महासागर के छोटे से देश यानी मालदीव पर प्रभाव डालने की कोशिश में जुटा है और वह अपने जाल में फंसाना चाहता है. मुइज्जू की सरकार लगातार चीन प्रेम दिखा रहा है और यही वजह है कि मालदीव ने भारत से वहां तैनात अपने लगभग 80 सैनिकों को वापस बुलाने के लिए कहा है. फिलहाल, चीनी जासूसी जहाज माले के रास्ते में है.

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पिछले साल अक्टूबर में कोलंबो में रुका था
दरअसल, चीनी जहाज को श्रीलंका ने अपने बंदरगाह पर रुकने की अनुमति दी थी. अब श्रीलंका के इनकार करने के बाद चीनी जहाज मालदीव की ओर जा रहा है. अधिकारी ने कहा कि भारतीय नौसेना इसकी गतिविधियों पर बारीकी से नजर रख रही है. बता दें कि चीनी सर्वेक्षण जहाज भारत द्वारा उठाई गई चिंताओं के बावजूद पिछले साल अक्टूबर में कोलंबो में रुका था. इससे पहले अगस्त में करीब 140 के चालक दल के साथ चीनी युद्धपोत हाई यांग 24 हाओ ने भी बंदरगाह का दौरा किया था.

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