नई दिल्ली:
Russia Tourism: भारत और रूस के रिश्ते हमेशा से अच्छे रहे हैं. इसीलिए हर साल हजारों छात्र मेडिकल की पढ़ाई के लिए रूस का रुख करते हैं. इसके साथ ही लाखों भारतीय टूरिस्ट भी रूस जाते हैं. इन सबके बावजूद कुछ लोगों के मन में रूस को लेकर कुछ गलत धारणाएं बनी हुई हैं. अगर आप भी गर्मियों की छुट्टियों में कहां जाने का प्लान कर रहे हैं और आपका मन रूस जाने का है तो रूस से जुड़ी बहुत महत्वपूर्ण बातें आपको जानना बहुत जरूरी है. दरअसल, रूस में इनबाउंड टूरिज़्म मार्केट में पिछले 95 वर्षों से सक्रिय कंपनी इनटूरिस्ट ने हाल में उन सैलानियों के बीच एक सर्वे कराया, जो मॉस्को का सफर कर चुके हैं.
सर्वे में क्या पूछा गया?
इस सर्वे में पूछा गया था कि मॉस्को के बारे में उनके मन में क्या धारणा थी और वास्तविक अनुभव कैसा रहा. इस सर्वे के नतीजों के आधार पर मॉस्को से जुड़ी तमाम गलत धारणाओं की एक सूची तैयार की गई और एक-एक कर इन सभी भ्रांतियों को दूर किया गया. इनटूरिस्ट के जनरल डायरेक्टर तथा एसोसिएशन ऑफ टूर ऑप्रेटर्स ऑफ रशिया (एटीओआर) के इनबाउंट टूरिज़्म कमेटी प्रमुख अलेक्सैंडर मुसिखिन ने कहा, “मॉस्को आने वाले हर टूरिस्ट के मन में सबसे पहले यही ख्याल आता है कि रैड स्क्वायर बर्फ की मोटी चादर में लिपटा होगा. बेशक, यह धारणा लोगों के मन में शहर की लोकप्रिय छवि के चलते बनी है लेकिन सच्चाई यह है कि रूस की इस राजधानी में सैलानियों के लिए और भी बहुत कुछ है.”
क्या बहुत ठंडा शहर है मॉस्को?
रूस की राजधानी मॉस्को हर मौसम में बेहद ठंडा नहीं रहता. यहां चार मौसम होते हैं और गर्मी का मौसम गर्म होता है. अप्रैल का महीना साल का सबसे खुशनुमा होता है जब हवा में ताज़गी होती है, फूलों पर बहार होती है और पूरे शहर में कैफेटेरिया टैरेस खुले होते हैं. गर्मी का मौसम आमतौर से गर्म होता है और इस दौरान आप कई एक्टिविटीज़ कर सकते हैं- जैसे ओपन पूल की तरह के चायका या लुझनिकी जा सकते हैं, किसी पार्क में लेमोनेड की चुस्कियों का लुत्फ उठा सकते हैं या Serebryany Bor के किसी तट पर दिन बिता सकते हैं. बेशक, मॉस्को की सर्दी ठिठुरन भरी होती है, लेकिन अब पब्लिक ट्रांसपोर्ट और इमारतों में उम्दा हीटिंग सिस्टम्स की व्यवस्था होती है, जो आपको ठंड में गर्मी का अहसास कराएगी.
मॉस्को काफी कुछ सोवियत जैसा दिखता है?
रूस के टूरिज़म एक्सपर्ट्स की माने तो मॉस्को का आर्किटैक्चर काफी खूबसूरत है जिसमें बीते करीब एक हजार साल के अतीत की झलक देखी जा सकती है. अगर आप शहर को ध्यान से देखें तो यहां आपको अलग-अलग दौर के कई खूबसूरत लैंडमार्क दिखाई देंगे. सोवियत आर्किटैक्चर के अलावा यहां बारहवीं से उन्नसवीं सदी की इमारतें हैं जिनमें आर्ट नोवू दौर की इमारतें भी शामिल हैं और मॉस्को शहर में कई दमकती बहुमंजिला इमारतें भी शान से सिर उठाए खड़ी हैं.
क्या दुनिया के सबसे महंगा शहरों में से एक है मॉस्को?
ऐसा नहीं है आप मॉस्को की यात्रा बजट ट्रैवल में भी कर सकते हैं. ईआईयू रेटिंग 2021 के अनुसार, मॉस्को दुनिया के टॉप 100 महंगे/अमीर शहरों की सूची में भी नहीं है. यहां ठहरने, खानपीन और शॉपिंग के तरह-तरह के विकल्प उपलब्ध हैं जो आपकी अपेक्षाओं और जेब के हिसाब से हैं- जैसे स्टोलशनिकॉफ लेन में बुटिक्स से लेकर कई बड़े मॉल्स– यूरोपोलिस या एट्रियम हैं जहां क्लोदिंग स्टोर्स और फास्ट फूड रेस्टॉरेंट्स, ब्यूटी सैलून्स, सिनेमा तथा प्लेग्राउंड वगैरह हैं.
मॉस्को में कैसा खाना मिलता है?
कुछ लोगों का मानना है कि मॉस्को में ब्रोशेट और पेल्मेनी के सिवाय कोई ढंग का खाना नहीं मिलता? लेकिन सच्चाई इससे बिल्कुल उलट है, क्योंकि मॉस्को में कई हाइ क्वालिटी रेस्टॉरेंट हैं जहां रशियन और वर्ल्ड क्युज़िनस उपलब्ध हैं. मॉस्को में पारंपरिक रशियन क्युज़िन के अलावा आपको और बहुत कुछ मिलेगा जो किसी भी भूखे टूरिस्ट का पेट भर सकता है- यहां हलाल और कोशेर, वेजीटेरियन और वेगन, यूरोपीयन और एशियन रेस्टॉरेंट पूरे शहरभर में उपलब्ध हैं, यही नहीं यहां आपको भारत के व्यंजन की भरमार देखने को मिलेगी.
कैसा है मॉस्को के लोगों का व्यवहार?
मॉस्को के लोग भारत को काफ़ी पसंद करते हैं क्योंकि रूस और भारत की दोस्ती बेहतर है वहीं मॉस्को के लोग काफी गर्मजोशी से भरे इंसान हैं और दूसरों की मदद करना पसंद करते हैं.
मॉस्को में कैसी है पर्यटकों की सुरक्षा?
जानकारों की माने तो मॉस्को में क्राइम रेट कई यूरोपीयन टूरिस्ट शहरों की तुलना में कम है. मॉस्को बेहद टैक्नोलॉजी प्रधान शहर है. पिछले साल, मॉस्को ब्रिक्स शहरों में टैक्नोलॉजी और स्पेटियल डेवलपमेंट के लीडर के तौर पर उभरकर आया है. टैक्नोलॉजी के मोर्चे पर मॉस्को तेज़ी से आगे बढ़ रहा है. शहरों में सीसीटीवी कैमरों से हाईटेक वॉर रूम तैयार किये गए हैं जो 24 घंटे शहर की निगरानी करते हैं, फेशियल रेकग्निशन से चेहरों की पहचान की जाती है.
क्या मॉस्को के लोगों को नहीं आती अंग्रेजी?
लोगों के बीच धारण है कि मॉस्को में कोई अंग्रेजी में बातचीत नहीं करता, लेकिन सच्चाई ये है कि मॉस्को के युवा धाराप्रवाह अंग्रेजी बोलते हैं. मिलेनियल्स और Gen Z को ट्रैवलिंग का काफी शौक है और युवा मॉस्कोवासी धड़ल्ले से अंग्रेजी बोलते हैं. यहां तक कि स्कूलों और विश्वविद्यालयों में भी विदेशी भाषाएं सिखायी जाती हैं, इसके अलावा पर्सनल स्टडीज़ के लिए कई ऑनलाइन कोर्स और अनगिनत ऐप्स भी हैं जिनकी मदद से आप बातचीत कर सकते हैं. इसलिए यकीन रखें कि आपको जब भी भाषा संबंधी कोई जरूरत होगी, वह आपको आसानी से मिल जाएगी.
रिपोर्ट- आमिर