रिपोर्ट- मनोज गुप्ता
ओटावा. खालिस्तानी (Khalistani) आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर (Hardeep Singh Nijjar) की हत्या के बाद से भारत और कनाडा के बीच राजनयिक संबंधों में तनातनी आ गई है. निज्जर की हत्या को लेकर कनाडा ने भारत पर बेवजह कई गंभीर आरोप लगाए थे जिसके बाद से दोनों देशों के बीच संबंधों में खिंचाव आ गया है. इस तनातनी के बीच आतंकी निज्जर का दाहिना हाथ माना जाने वाला गुरमीत तूर (Gurmeet Toor) को लेकर नया खुलासा हुआ है. दरअसल, कनाडाई पुलिस ने तूर को चेतावनी दी थी कि उसकी जान को खतरा हो सकता है.
कनाडा के सूत्रों ने न्यूज18 को बताया कि रॉयल कैनेडियन माउंटेड पुलिस (आरसीएमपी) ने मारे गए खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर के करीबी सहयोगी को चेतावनी दी है कि उसकी जान को खतरा हो सकता है. निज्जर के दाहिने हाथ गुरमीत तूर को अगस्त में सरे आरसीएमपी और इंटीग्रेटेड नेशनल सिक्योरिटी एनफोर्समेंट टीम (इनसेट) द्वारा चेतावनी दी गई थी.
संयुक्त खुफिया टीमों द्वारा तैयार किए गए “ड्यूटी टू वॉर्न” दस्तावेज में, तूर को बताया गया कि एजेंसियां इस निष्कर्ष पर पहुंची हैं कि उनकी जान खतरे में है, हालांकि उसको किसी प्रकार की कोई नजदीकी सुरक्षा प्रदान नहीं की गई. दस्तावेज में कहा गया कि इस समय खतरे को लेकर खास डिटेल मुहैया कराने में असमर्थ हैं.
बताते चलें कि गुरमीत तूर खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर का करीबी सहयोगी है. निज्जर की गत 18 जून को गुरु नानक सिख गुरुद्वारा (Surrey Guru Nanak Sikh Gurdwara) की पार्किंग में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. निज्जर ने गुरुद्वारा में अध्यक्ष के रूप में भी जिम्मेदारी संभाली थी. वहीं, तूर खुद सरे गुरु नानक सिख गुरुद्वारा का वरिष्ठ सदस्य है.
जून में निज्जर की हत्या में भारतीय एजेंटों की ‘संभावित’ संलिप्तता के कनाडाई प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो के आरोपों के बाद भारत और कनाडा के बीच संबंधों में गंभीर तनाव पैदा हो गया है. भारत ने आरोपों को ‘बेतुका’ और ‘प्रेरित’ करने वाला करार देते हुए खारिज कर दिया और इस मामले में ओटावा द्वारा एक भारतीय अधिकारी को निष्कासित करने के बदले में एक वरिष्ठ कनाडाई राजनयिक को भी निष्कासित कर दिया है.
विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने कहा था कि नई दिल्ली ने ओटावा को बता दिया है कि यह भारत सरकार की नीति नहीं है और वह मामले में ‘विशिष्ट’ और ‘प्रासंगिक’ जानकारी देखने के लिए तैयार हैं.
एस. जयशंकर ने संयुक्त राष्ट्र महासभा सत्र के दौरान कनाडाई लोगों से कहा कि पहली, यह भारत सरकार की नीति नहीं है. दूसरी, कनाडाई (Canadians) लोगों से कहा कि देखिए, यदि आपके पास कुछ विशिष्ट है, यदि आपके पास कुछ प्रासंगिक है, तो हमें बताएं. जयशंकर ने संयुक्त राष्ट्र महासभा (UN General Assembly) सत्र को संबोधित करने के बाद मंगलवार को न्यूयॉर्क (New York) में विदेश संबंध परिषद में बातचीत में कहा, ‘हम इस पर विचार करने के लिए तैयार हैं.’
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FIRST PUBLISHED : September 29, 2023, 11:25 IST