कभी गूंजती थी गब्बर सिंह की दहाड़…आज वहां बच्चे बोल रहे लंदन की भाषा, एक टीचर ने बदली तस्वीर

विकाश कुमार/ चित्रकूट: चित्रकूट पाठा क्षेत्र के मानिकपुर ब्लॉक अंतर्गत खुले इस गांव के सरकारी विद्यालय में पढ़ने वाले छात्र किसी कॉन्वेंट स्कूल के छात्रों से पीछे नहीं है. इस पिछड़े गांव के रहने वाले बच्चों के अनपढ़ अभिभावकों ने कभी यह नहीं सोचा था कि अब उनके बच्चे इंग्लिश मीडियम की पढ़ाई कर पाएंगे. लेकिन, अब यहां के बच्चे पढ़ाई के साथ फर्राटेदार इंग्लिश भी बोलते हैं. यह सब एक होनहार अध्यापक की वजह से हो रहा है.

हम बात कर रहे है चित्रकूट के बांभिया गांव की, जहां पहले कभी डकैतों का राज हुआ करता था. लोग घर के बाहर निकलने से भी डरा करते थे. लेकिन, इंग्लिश मीडियम प्राथमिक विद्यालय के अध्यापक रवि सिंह की लगन और मेहनत ने गांव के बच्चों में शिक्षा की अलख जगा दी. अब इस गांव के अनपढ़ माता-पिता के बच्चे फर्राटेदार इंग्लिश बोलते हैं. अध्यापक रवि सिंह ने बच्चों को पढ़ाने के लिए स्कूल में विदेशी तर्ज पर स्मार्ट क्लास की व्यवस्था कराई. इस कार्य के बदले अध्यापक को कई बड़े बड़े पुरस्कार भी मिल चुके हैं.

उत्कृष्ट कार्यों के लिए तमाम पुरस्कारों से हुए सम्मानित
अध्यापक रवि सिंह ने बताया की उनको उत्कृष्ट कार्यों के लिए तमाम पुरस्कारों के साथ बेसिक शिक्षा परिषद उत्तर प्रदेश ने 2018-19 में सम्मानित किया था. इसके बाद अध्यापक रवि सिंह को राज्य अध्यापक पुरस्कार 2019 से भी सम्मानित किया गया. बता दें कि प्रदेश के 75 जिलों से 73 जिलों के अध्यापकों की लिस्ट में रवि सिंह का भी नाम शामिल किया गया.

2016 में विद्यालय में हुई थी नियुक्ति
उन्होंने जानकारी देते हुए बताया कि 2016 में इस विद्यालय में मेरी नियुक्ति हुई थी. तब से मैंने इस गांव के बच्चों के माता पिता से मिलना शुरू किया. उनके माता-पिता को बच्चों को स्कूल भेजने के लिए प्रेरित किया. धीरे-धीरे बच्चों के माता पिता ने उन्हें स्कूल भेजना शुरू किया. बच्चों की लगन को देखकर उन्होंने पठन-पाठन सामग्री में प्रयोग होने वाले सामान और स्मार्ट क्लास चलाने के लिए आवश्यक सामग्री की भी व्यवस्था की है.

Tags: Chitrakoot News, Local18

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