भरत तिवारी/जबलपुर. संस्कारधानी जबलपुर के गौरीघाट के दूसरे छोर पर हनुमान जी का मंदिर है. इस मंदिर की मान्यता है कि यहां आकर प्रार्थना करने वाले भक्त की हर प्रकार के रोग दूर होते हैं. मंदिर में मौजूद नागा साधु ने बताया कि हनुमत वीरा,हनुमान जी का भजन और उनकी आराधना करने से सारे रोग दूर होते हैं, हनुमान चालीसा में इस बात का लेख है, वहीं आज हम आपको एक ऐसे ही मंदिर के बारे में बताने जा रहे हैं जिसके बारे में मान्यता है कि यहां पर आए हर भक्त के रोग दूर होते हैं, जबलपुर संस्कारधानी के ग्वारीघाट के दूसरे छोर पर स्थित हनुमान जी के इस मंदिर के बारे में कहा जाता है कि यहां पर जो भी भक्त श्रद्धा भाव के साथ यहां पर पहुंचता है उसके सारे रोग दूर हो जाते हैं.
यह मंदिर करीब 40 सालों से उस जगह पर मौजूद है और इस मंदिर में स्थापित हनुमान जी की प्रतिमा भगवान भोले नाथ के उस प्राचीन मंदिर की बिल्कुल सीत पर घाट के दूसरी ओर स्थापित है. जिसके बारे में ऐसी कहानी है कि अश्वत्थामा यहां पर आया करते हैं और मां नर्मदा का जल भोलेनाथ को चढ़ाया करते हैं.कहते हैं जिस प्रकार हनुमान जी ने अर्जुन के रथ पर सवार होकर पूरे महाभारत के युद्ध में अश्वत्थामा के अस्त्रों से अर्जुन के रथ की रक्षा की थी उसी प्रकार आज भी हनुमान जी उस स्थान पर बैठकर चिरंजीव अश्वत्थामा पर नजर रखते हैं.
मंदिर में दर्शन करने से सभी रोग हो जाते है दूर
मंदिर में मौजूद नागा साधु ने हमें बताया कि कई वर्षों से वे मंदिर में अपनी सेवा दे रहे हैं. इसी बीच अचानक से उन्हें लकवे ने घेर लिया था. तब करीब 3 महीने तक वह इसी मंदिर में अस्वस्थ पड़े रहे, तब हनुमान जी ने उन्हें स्वप्न में दर्शन दिए और एक मंत्र उन्हें प्रदान किया जिसके जाप से उनके रोग दूर हो गए. मंदिर में मौजूद और भी लोगों ने नागा साधु की इस बात पर मोहर लगादी और बताया कि वाकई नागा साधु जी कि जब तबीयत काफी हद तक खराब थी तब अचानक से किसी मंत्र के जाप से उनकी तबीयत ठीक हो गई और वह पूर्णतया स्वस्थ हो गए. Local 18 के कैमरे पर उन्होंने इस बात का बयान दे दिया कि इस मंदिर में आने से लोगों के रोग दूर होते हैं अगर भक्त सच्ची श्रद्धा भाव और पूरे मन से यहां पर जाकर हनुमान जी की आराधना करता है तो वह सारे रोगों से मुक्ति पता है.
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FIRST PUBLISHED : December 10, 2023, 09:36 IST