अग्रिम कर भुगतान की वजह से प्रत्यक्ष कर संग्रह में उल्लेखनीय बढ़ोतरी: वित्त मंत्रालय

अग्रिम कर भुगतान की वजह से प्रत्यक्ष कर संग्रह में उल्लेखनीय बढ़ोतरी: वित्त मंत्रालय

नई दिल्ली: चालू वित्त वर्ष में सितंबर मध्य तक शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह 23.51 प्रतिशत बढ़कर 8.65 लाख करोड़ रुपये रहा है. वित्त मंत्रालय ने सोमवार को यह जानकारी देते हुए कहा कि कंपनियों की ओर से अधिक अग्रिम कर भुगतान की वजह से प्रत्यक्ष कर संग्रह में उल्लेखनीय बढ़ोतरी हुई है. इस दौरान अग्रिम कर भुगतान 21 प्रतिशत बढ़ा है. आंकड़ों के अनुसार, शुद्ध कर संग्रह चालू वित्त वर्ष के बजट अनुमान 18.23 लाख करोड़ रुपये का 47.45 प्रतिशत रहा है. पिछले वित्त वर्ष 2022-23 में प्रत्यक्ष कर संग्रह 16.61 लाख करोड़ रुपये रहा था.

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अग्रिम कर की दूसरी किस्त के भुगतान की अंतिम तिथि 15 सितंबर थी. मंत्रालय ने बयान में कहा कि 16 सितंबर तक 8,65,117 करोड़ रुपये के शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह में 4,16,217 करोड़ रुपये का कॉरपोरेट आयकर (सीआईटी) और प्रतिभूति लेनदेन कर (एसटीटी) सहित 4,47,291 करोड़ रुपये का व्यक्तिगत आयकर (पीआईटी) शामिल है. बयान के अनुसार, चालू वित्त वर्ष के लिए 16 सितंबर तक शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह 23.51 प्रतिशत अधिक रहा है.

चालू वित्त वर्ष में सितंबर मध्य तक अग्रिम कर भुगतान 21 प्रतिशत बढ़कर 3.55 लाख करोड़ रुपये हो गया, जो इससे पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि में 2.94 लाख करोड़ रुपये था. अग्रिम कर भुगतान 16 सितंबर तक 3.55 लाख करोड़ रुपये रहा, जिसमें सीआईटी 2.80 लाख करोड़ रुपये और पीआईटी 74,858 करोड़ रुपये है.

समीक्षाधीन अवधि में आयकर विभाग ने करीब 1.22 लाख करोड़ रुपये का रिफंड जारी किया है. मंत्रालय ने कहा कि कुल मिलाकर वित्त वर्ष 2023-24 के लिए प्रत्यक्ष कर संग्रह 18.29 प्रतिशत बढ़कर 9.87 लाख करोड़ रुपये है, जो इससे पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि में 8.34 लाख करोड़ रुपये था.

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