पाकिस्तान के नए सेना प्रमुख असीम मुनीर ने दी गीदड़ भभकी, भारत के खिलाफ उगला जहर

इस्लामाबाद. पाकिस्तान के नए सेना प्रमुख जनरल असीम मुनीर ने सेना अध्यक्ष बनते ही भारत के खिलाफ गीदड़भभकी देनी शुरू कर दी है. असीम मुनीर ने शनिवार को भारत से सटी नियंत्रण रेखा (एलओसी) का दौरा किया. इस दौरान उन्होंने कहा कि पाकिस्तानी फौज अपनी एक-एक इंच जमीन की हिफाजत करेगी और अगर उसपर जंग थोपी गई तो दुश्मन का डटकर मुकाबला करेगी.

दरअसल पाकिस्तानी सेना की कमान संभालने के बाद असीम मुनीर पहली बार एलओसी के दौरे पर थे. इस दौरान उन्होंने एलओसी से सटी अग्रिम चौकियों का भी निरीक्षण किया. इसके बाद पाकिस्तानी सैनिकों को संबोधित करते हुए जनरल असीम मुनीर ने गिलगित बाल्टिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर को लेकर भारत की ओर से दिए गए बयान को गैरजिम्मेदाराना बताया.

जनरल असीम मुनीर से कहा, ‘मैं यह साफ कर दूं कि पाकिस्तानी फौज न सिर्फ अपनी सरजमीं के हर इंच की हिफाज़त के लिए हमेशा तैयार है, बल्कि अगर हम पर कभी जंग थोपी गई तो दुश्मन को हराने का भी माद्दा रखती है. किसी भी दुस्साहस का हमेशा पूरी ताकत से मुकाबला किया जाएगा.’

इसी हफ्ते सेना प्रमुख बने हैं आसिम मुनीर
बता दें कि पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई के पूर्व प्रमुख जनरल आसिम मुनीर ने इसी हफ्ते मंगलवार को देश के नए सेना प्रमुख के तौर पर कार्यभार संभाला है.  पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने मुनीर को 24 नवंबर को सेना प्रमुख नामित किया था.

मुनीर पहले ऐसे सेना प्रमुख है, जिन्होंने दो सबसे शक्तिशाली खुफिया एजेंसी इंटर-सर्विसेज इंटेलिजेंस (आईएसआई) और मिलिट्री इंटेलिजेंस (एमआई) के प्रमुख के रूप में सेवाएं दी हैं. हालांकि वह अब तक सबसे कम समय के लिए आईएसआई प्रमुख रहे. आठ महीने के अंदर 2019 में तत्कालीन प्रधानमंत्री इमरान खान के कहने पर उनकी जगह लेफ्टिनेंट जनरल फैज हामिद को आईएसआई प्रमुख नियुक्त किया गया था.

बाजवा के करीबी रहे हैं मुनीर
मुनीर ‘फ्रंटियर फोर्स रेजिमेंट’ के जरिए सेना में शामिल हुए थे. जब जनरल बाजवा एक्स कोर के कमांडर थे, तब मुनीर उनके मातहत ‘फोर्स कमान नॉर्दन एरिया’ में ब्रिगेडियर थे. तब से मुनीर बाजवा के करीबी रहे हैं. बाद में वर्ष 2017 की शुरुआत में मुनीर को ‘मिलिट्री इंटेलिजेंस’ का प्रमुख नियुक्त किया गया था और उसके अगले साल अक्टूबर में आईएसआई प्रमुख बनाया गया था, लेकिन उन्हें कुछ समय बाद ही इस पद से हटा दिया गया था.

इसके बाद उन्हें गुजरांवाला कोर कमांडर के तौर पर तैनात किया गया था और वह दो साल इस पद पर रहे. बाद में उन्हें क्वार्टरमास्टर जनरल के तौर पर स्थानांतरित कर दिया गया. वह पहले ऐसे सेना प्रमुख हैं, जिन्हें ‘स्वॉर्ड ऑफ ऑनर’ से सम्मानित किया गया है. (भाषा इनपुट के साथ)

Tags: Pakistan army, Pakistan news

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