‘धर्म के आधार पर बने पाकिस्तान चले जाते तो…’, बदरुद्दीन अजमल के बयान पर बोले गिरिराज

ANI

गिरिराज सिंह ने कहा कि हम जब जनसंख्या नियंत्रण की बात कर रहे हैं तो हमें नसीहत दे रहे हो। हमें नसीहत नहीं चाहिए। उन्होंने कहा कि देश में एक ऐसा कड़ा कानून लाना चाहिए जो हिंदु, मुस्लिम, सिख, ईसाई सभी पर लागू हो और जो न माने उसको सरकारी योजनाओं से वंचित किया जाना चाहिए।

हिंदुओं को लेकर एयूआईडीएफ के प्रमुख और सांसद बदरुद्दीन अजमल के बयान पर राजनीतिक बवाल मचा हुआ है। भाजपा के फायरब्रांड नेता और केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने साफ तौर पर कहा है कि यह दुर्भाग्य है कि बदरुद्दीन अजमल जैसे लोग हमें गाली दे रहे हैं। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि धर्म के आधार पर बने पाकिस्तान में चले जाते तो हमें गालियां नहीं दे रहे होते। अपने बयान में गिरिराज सिंह ने कहा कि ये दुर्भाग्य है कि आज हमें बदरुद्दीन अजमल जैसे लोग गाली दे रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि अगर आजादी के समय ये हो गया होता कि धर्म के आधार पर बने पाकिस्तान में सब लोग चले जाते और यहां सनातन को मानने वाले गैर मुस्लिम लोग रह जाते तो आज बदरुद्दीन, औवेसी हमें गालियां नहीं देते। 

इसे भी पढ़ें: बदरुद्दीन अजमल ने अपने बयान पर माफी मांगी, कहा- मेरा किसी की भावनाओं को ठेस पहुंचाने का इरादा नहीं था

इसके साथ ही गिरिराज सिंह ने कहा कि हम जब जनसंख्या नियंत्रण की बात कर रहे हैं तो हमें नसीहत दे रहे हो। हमें नसीहत नहीं चाहिए। उन्होंने कहा कि देश में एक ऐसा कड़ा कानून लाना चाहिए जो हिंदु, मुस्लिम, सिख, ईसाई सभी पर लागू हो और जो न माने उसको सरकारी योजनाओं से वंचित किया जाना चाहिए। भाजपा नेता ने साफ तौर पर कहा कि बदरुद्दीन अजमल को हमें नसीहत देने की जरूरत नहीं है। अभी भारत में वही मुसलमान हैं जिन्होंने मुगलों के डर से अपना धर्म बदल लिया था। उन्होंने कहा कि सनातन धर्म सदैव प्रेम की पूजा होती रही है। हालांकि बदरुद्दीन अजमल ने अपने बयान पर माफी मांग ली थी। उन्होंने कहा था कि मेरा इरादा किसी को ठेस पहुंचाना नहीं था। 

इसे भी पढ़ें: बच्चों की खेती का मौलाना फॉर्मूला, मुसलमानों की तरह हिंदू भी इसे अपनाएं, लड़कियों की शादी 18 साल की उम्र में कराएं

अपने बयान में बदरुद्दीन अजमल ने कहा था कि मुस्लिम लड़कियों की शादी 18 साल की उम्र में हो जाती है, लेकिन हिंदू लड़कियों की शादी 40 साल की उम्र में नहीं होती है। वे 40 साल की उम्र तक अवैध पार्टनर रखते हैं। वे बच्चे नहीं पैदा करते और पैसे बचाते हैं। लेकिन 40 साल की उम्र के बाद इनकी शादी हो जाती है। फिर आप बच्चों को कैसे स्वीकार कर सकते हैं? इसके साथ ही उन्होंने कहा था कि उन्हें (हिंदुओं को) मुस्लिम फॉर्मूले को स्वीकार करना चाहिए और अपने बच्चों की शादी 20-22 साल की उम्र में कर देनी चाहिए। 18-20 साल की उम्र में लड़कियों की शादी करा दो और फिर देखो कितने बच्चे पैदा होते हैं। 

अन्य न्यूज़



Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *